जिले के जवानों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाने देंगे
संगठन के संरक्षक रूपेश भारती ने बताया जिले भर में कई युवा सेना में भर्ती होकर भारत माता की रक्षा में देश की सीमाओं पर तैनात हैं। जहां कई बार दुश्मनों से लोहा लेते हुए शहीद हो जाते हैं। ऐसे मामले में जब उनकी पार्थिव शरीर घर पहुंचता है तभी याद करते हैं, उसके बाद ऐसे वीर सपूतों को भूल जाते हैं। उनकी स्मृति को संजोने के लिए संगठन ने कुछ करने की सोची है। बालोद जिले के जवानों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाने देंगे इसलिए मातृभूमि सैन्य संगठन ने बड़ा निर्णय लिया है। यहां ग्राम पंचायत पैरी द्वारा संगठन को दी गई जमीन पर अब शहीदों की प्रतिमा लगाई जाएगी।
जानकारी के साथ कांच में बंद रहेगी शहीदों की प्रतिमाएं
संगठन के मार्गदर्शक पूर्व प्राचार्य व राष्ट्रपति से सम्मानित शिक्षक सीता राम साहू ने कहा हमारा देश. प्रदेश व गांव धन्य है जहां वीर जवान पैदा हुए। भारत माता की रक्षा करने देश की सीमाओं पर सेवा से रहे हैं। पर यहां स्मृति के लिए बनाए जाने वाले भारत माता मंदिर व जिले के शहीदों की प्रतिमाओं को सुरक्षित रखा जाएगा। प्रतिमाएं कांच में सुरक्षित रखी जाएगी। जहां विवरण होगा कि यह वीर सपूत किस वजह से शहीद हुआ। अभी इसकी तैयारी में संगठन लगा हुआ है। वहीं साल में इनके सम्मान में विविध आयोजन भी रखे जाएंगे।
ग्राम पैरी के दो जवान शहीद, 56 जवान दे रहे हैं देश सेवा
यह गर्व की बात है कि ग्राम पैरी जवानों का गांव है। यहां हर तीन घर के बाद हर घर से बेटा आर्मी, पुलिस विभाग में सेवा दे रहे हैं। अभी और भी युवा अपने को तैयार कर रहे हैं, जो देश की रक्षा करने आर्मी में जाना चाहते हैं। गाव में 56 लोग भारत माता की रक्षा के लिए विभिन फोर्सों में सेवा दे रहे हैं। वहीं दो बेटे शहीद हो चुके हैं। इसमें 1991 में पुलिस जवान तीवर सिंह है, जो बस्तर में सेवा दे रहे थे कि 26 अगस्त 1991 में माओवादियों के बम ब्लास्ट से शहीद हो गए थे। हाल ही में सर्चिंग के दौरान लाडले वीर जवान दिनेश ठाकुर भी बर्फ में दबने से शहीद हो गए।
जिले के 38 जवान हैं जो कारगिल युद्ध से लेकर अनेक अवसरों पर अपनी जान गंवा दी
पुलिस विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक जिले में लगभग 38 जवान हैं जो देश की रक्षा करते अपनी जान दे चुके हैं। इसमें वे जवान भी शामिल हैं जिन्होंने कारगिल युद्ध सहित अनेक अवसरों पर देश की रक्षा के दौरान दुश्मनों से लोहा लेते शहीद हो चुके हैं। पर अब ग्राम पैरी में बनने वाले स्मृति स्थल पर जिले के इन शहीदों को लोग जानने व पहचानने लगेंगे।
संगठन इसके लिए कर रहे राशि इकठ्ठा
प्रदेश में पहला ऐसा गांव या पहल होगी कि सैन्य संगठन लोगों में देशभक्ति का जज्बा पैदा कर रहा है। 2016 से चलाए जा रहे संगठन के माध्यम से शहीदों के परिजन का समय-समय पर सम्मान किया जाता है। इसके लिए समारोह आयोजित कर शहीद बेटे के बारे में आम लोगों को जानकारी देते हैं। इस संगठन के संरक्षक रमेश भारती, अध्यक्ष ढाल सिंह, सदस्य बिंदु पटेल, भरमदेव पटेल, सीता राम साहू, बीएल बेलसर सहित और भी सदस्य शामिल हैं।