पुलिस और आबकारी विभाग पर मिलीभगत का आरोप जानकारी के मुताबिक ट्रैक्टर-ट्रॉली एवं टैम्पो में भरकर सैंकडों महिलाएं कलक्ट्री पहुंचकर अपना विरोध जताया। महिलाओं का आरोप है कि बांसवाड़ा के सदर थाना इलाके के ईसरवाला गांव में पुलिस और आबकारी विभाग की मिलीभगत से देशी शराब के अड्डे संचालित हैं। इन अड्डों को बंद कराने को लेकर एक बार फिर सोमवार को पांच गांवों की महिलाएं एकजुट हो गई। इस दौरान करीब एक घंटे तक कलक्ट्री परिसर में गुस्साई महिलाओं ने नारेबाजी की। साथ ही पुलिस और आबकारी विभाग के अधिकारियों पर मिलीभगत होने के गंभीर आरोप लगाए। ईसरवाला, उपली मोरड़ी, निचली मोरड़ी, टेकला, बूगाबड़ा व डडूकड़ा सहित अन्य गांवों की महिलाओं का कहना है कि कई बार कलक्टर और पुलिस के अधिकारियों से देशी शराब के ठिकानों को बंद करने की गुहार लगा चुके हैं।
शराब के चलते घरेलू हिंसा से तंग महिलाओं ने उठाया कदम
शराब से आहत महिलाओं ने अपने स्तर पर भी कई बार देशी शराब के अड्डों को तौड़ने का प्रयास किया लेकिन पुलिस और प्रशासन हाथ पर हाथ धरे बैठा रहा। आखिर प्रशासन के उदासीन रवैये के चलते महिलाओं का गुस्सा सोमवार को फूट पड़ा। दरअसल, महिलाएं घरेलु हिंसा से लेकर घर में शराबी हो चुके सदस्यों से काफी परेशान हैं। इसके बावजूद पुलिस, आबकारी विभाग व प्रशासन कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है।
शराब से आहत महिलाओं ने अपने स्तर पर भी कई बार देशी शराब के अड्डों को तौड़ने का प्रयास किया लेकिन पुलिस और प्रशासन हाथ पर हाथ धरे बैठा रहा। आखिर प्रशासन के उदासीन रवैये के चलते महिलाओं का गुस्सा सोमवार को फूट पड़ा। दरअसल, महिलाएं घरेलु हिंसा से लेकर घर में शराबी हो चुके सदस्यों से काफी परेशान हैं। इसके बावजूद पुलिस, आबकारी विभाग व प्रशासन कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है।
खुफिया तंत्र की खुली पोल कलक्ट्री में आये दिन हो रहे प्रदर्शनों से परेशान होकर अधिकारियों ने प्रदर्शनकारियों को मुख्यद्वार पर रोकने के लिए एक चौकी लगा रखी है। इसके अलावा एेसे प्रदर्शनों की पूर्व सूचना के लिए जिला विशेष शाखा तक नियुक्त है। इसके बाद भी डीएसपी एवं चौकी पुलिस को इसकी भनक तक नहीं लगी। इतना ही नहीं महिलाएं बेरोकटोक ट्रैक्टरों में भरकर कलक्ट्री जा पहुंची।