
पावटा से हरियाणा जा रहा बाजरा, व्यापारी कूट रहे चांदी
पावटा. प्रदेश में तो सरकार समर्थन मूल्य पर बाजरे की खरीद शुरू नहीं कर पाई है, लेकिन हरियाणा में सरकारी खरीद शुरू हो जाने से क्षेत्र से करीब दो हजार बोरी बाजरा रोजाना हरियाणा ले जाकर बेचा जा रहा है। हालांकि यह कानूनन गलत है, लेकिन क्षेत्र के कुछ व्यापारी हरियाणा में सरकारी खरीद केन्द्रों पर मिलीभगत कर बाजरा बेचकर चांदी कूट रहे हैं। जबकि स्थानीय व्यापारी किसानों से सस्ती भावों में बाजरा खरीद रहे हैं।
मण्डी को टैक्स का चूना
क्षेत्र का बाजरा हरियाणा जाने से कृषि उपज मण्डी को मण्डी टैक्स की चपत लग रही है। जानकारी के अनुसार कृषि उपज मण्डी 7 रुपए प्रति क्विंटल के हिसाब से मण्डी टैक्स वसूलती है। रोजाना दो हजार बोरी बाजरा हरियाणा जाने से 14 हजार रुपए प्रतिदिन मण्डी टैक्स का नुकसान हो रहा है और गत डेढ़ माह से बाजरा हरियाणा भेजा रहा है। इससे लगभगत अब तक करीब 6 लाख रुपए टैक्स की चपत लग चुकी है।
उत्पादन में भी गिरावट
इस बार पछेती बारिश होने एवं खेतों पड़ा बाजरा भीग जाने से क्वालिटी में गिरावट आई है। साथ ही उत्पादन भी प्रभावित हुआ है। तहसील के ऑफिस कानूनगो भोमसिंह मीणा ने बताया कि पावटा तहसील क्षेत्र में करीब 45 हजार हैक्टेयर कृषि भूमि पर गत व्र्श औसतन 4 मीट्रिक टन प्रति हैक्टेयर के हिसाब से उत्पादन हुआ था, लेकिन इस बार घटकर ढाई टन प्रति हैक्टेयर रह गया है।
इनका कहना है....
गत वर्ष पावटा मंडी में रोजाना करीब दो हजार बोरी बाजरे की आवक हुई थी, लेकिन इस बार फसलोत्पादन में गिरावट एवं हरियाणा जाने से मण्डी में मात्र 200 बोरी बाजरे की आवक हो रही है।
प्रीति शर्मा, सचिव, कृषि उपज मण्डी समिति कोटपूतली
Published on:
01 Nov 2018 08:23 pm
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