मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने गुरुवार को कलेक्टर-कमिश्नर कांफ्रेंस में करीब 15 विषयों पर समीक्षा की। चौहान ने कलेक्टर कमिश्नर कांफ्रेंस में मुख्यमंत्री ने कानून व्यवस्था को लेकर नाराजगी भी व्यक्त की। साथ ही रेत खनन पर अच्छा काम करने वाले जिलों की पीठ भी थपथपाई। चौहान ने कहा कि हमने तय किया है कि प्रधानमंत्री आवास के हितग्राहियों को रेत का पैसा मिलेगा।
रोजगार को देख पॉलिसी बनाएं
चौहान ने अवैध रेत परिवहन पर भी बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा है कि अवैध रेत परिवहन रोकने के लिए छतरपुर, ग्वालियर, सीहोर, राजगढ़, खरगौन आदि जिलों से ज्यादा मामले पंजीबद्ध करने के लिए बधाई भी दी। चौहान ने कहा कि हम वैध रेत खजाने करें, इससे रोजगार भी जुड़ा है। रेत का अवैध परिवहन रुकना चाहिए। हमको स्थानीय लोगों को रोजगार को ध्यान में रखते हुए पॉलिसी भी बनाना चाहिए।
इंदौर के दिए निर्देश
मुख्यमंत्री चौहान ने इंदौर में नई कमिश्नर प्रणाली के लिए कई निर्देश दिए। चौहान ने कहा कि अपराधों में सजा न होना, हमारी विफलता है। आपका जवाब संतोषजनक नहीं है। इसे पूरी गंभीरता से लिया जाए। चिन्हित अपराधियों पर सौ फीसदी सजा की कार्यवाही की जानी चाहिए। माफिया, गुंडे-बदमाशों को नेस्तानाबूत करना है। ऐसी कार्रवाई होना चाहिए कि यह एक एग्जांपल बन जाए। ऐसे लोग आतंक का पर्याय नहीं बन पाए।
इंदौर और मुरैना एसपी से असंतुष्ट दिखे सीएम
चिन्हित अपराधों में कम सजा होने पर मुरैना, इंदौर एसपी के जवाब से मुख्यमंत्री असंतुष्ट दिखे। उन्होंने मुरैना एसपी से पूछा सिर्फ 11.11% को ही सजा क्यों हुई। जो पूछा जाए वही बताइए, इतनी कम सजा क्यों हुई, ये बताइए। इंदौर कमिश्नर से कहा कि चिन्हित अपराधों में सजा न हो पाना हमारी विफलता है। आपका जवाब संतोषजनक नहीं है, इसे सभी पूरी गंभीरता से लें। चिन्हित अपराधों में 100% सजा होनी चाहिए।
डकैतों नहीं बन पाए
चौहान ने कांफ्रेंस में कहा कि डकैती को नहीं पनपने देना है। शुरू में ही कार्रवाई करें, वह बच भी न पाएं। चौहान ने अपराधियों को कम सजा होने पर मुरैना, इंदौर एसपी के जवाब से मुख्यमंत्री ने असंतोष जाहिर किया। साथ ही मुरैना एसपी से सीधे सवाल भी किए।
इन विषयों पर भी हुई चर्चा
दिनभर चली बैठकों में सीएम ने कानून व्यवस्था का सख्ती से पालन करने की बात कही। इसके साथ ही माफिया पर कार्रवाई, महिला अपराध नियंत्रण के अलावा नगरीय क्षेत्रों में स्वच्छता अभियान, नगरीय क्षेत्र और अन्य सड़क मार्गों की मरम्मत तथा नगरीय क्षेत्रों में मल-जल निकाली, सीवेज ट्रीटमेंट की समीक्षा भी की गई।
इसके साथ ही जल जीवन मिशन, धान उपार्जन, शिशु मृत्यु दर और मातृ मृत्युदर में कमी लाने की रणनीति, कोविड टीकाकरण, अस्पतालों में बेड की उपलब्धता और आयुष्मान कार्ड की समीक्षा की जा रही है। साथ ही एडाप्ट एन आंगनबाड़ी अभियान और जन सहभागिता से निजी स्पांसरशिप कार्यक्रम के संचालन के संबंध में चर्चा, विमुक्त घुमक्कड़ जातियों के जाति प्रमाण पत्र बनाने की कार्रवाई, श्रमिकों और फेरीवालों के लिए अलग से पहचान पत्र बनाने के कार्य की समीक्षा, पशुपालकों और मत्स्यपालकों कोकिसान क्रेडिट कार्ड जारी करने की समीक्षा की जा रही है।