जानकारी के मुताबिक कमला नगर थाना प्रभारी विजय सिसोदिया के मुताबिक एक साल पहले बनवारी लाल नाम के युवक ने ठगी की शिकायत की थी। उसने अपनी शिकायत में बताया था कि कोलीपुरा, जहांगीरबाद निवासी अंजना सिंह नाम की महिला से उसने कोटरा में स्थित एक मकान का सौदा किया था। इसके लिए उन्होंने अंजना को 3 लाख रुपए अग्रिम दिए थे।
कुछ समय बाद पता चला कि यह मकान किसी पुष्पलता गुप्ता का है और लंबे समय से खाली पड़ा है। बनवारी ने इस बारे में अंजना को बताया तो वह अचानक लापता हो गई। इस मामले में अंजना के चार साथी पुलिस के हत्थे चढ़ गए थे। शुक्रवार को मुखबिर की सूचना पर अंजना को गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ में पता चला कि वह पति से अलग रहती है। उसका एक बेटा और एक बेटी है। उसने इस बात को स्वीकार कर लिया है कि फर्जी कागजात तैयार करवाकर कोटरा के मकान का सौदा किया था।
इतना ही नहीं टीआई सिसोदिया ने बताया कि अंजना के घर से तलाशी में उसके तीन अलग नाम से दस्तावेज मिले, लेकिन उनमें पति का नाम एक ही था। पूछताछ में अंजना ने पुलिस को वह पति सत्येंद्र सिंह से कुछ सालों से अलग रह रही है। उसने तीन अलग-अलग बैंकों से करीब 81 हजार का समूह लोन लिया। ऋण माफ करवाने उसने बैंक में पति के फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र का इस्तेमाल किया।