इसलिए यात्रियों को यहां बस स्टॉप पर बसों का इंतजार करने में भी डर लगा रहता है। यात्रियों का कहना कि पुराने बस स्टॉप पर तो गायों का तबेला था, अब नए बस स्टॉप पर भी आवारा पशुओं का आवाजाही बढ गई है। बता दें कि पूझल बस स्टॉप अम्मा कैंटीन, ईएसआई कार्यालय और कॉर्पोरेशन ऑफिस के नजदीक है। वाबजूद इसके बस स्टॉप पर आवारा पशुओं का जमावड़ा कॉर्पोरेशन की उदासीनता को दर्शाता है।
यात्रियों की जुबानी…
विष्णुनगर निवासी आशारानी कहती है कि पहले तो बस स्टॉप पर सिर्फ गायें नजर आती थी लेकिन अब कई दिनों से महात्मा गांधी मेन रोड, जीएनटी रोड समेत कई बस स्टॉप पर भी घोड़े भी एमटीसी बसों का इंतजार करते दिखाई देते हैं।
बालाजी नगर निवासी कुप्पन का कहना था कि एक तो बस का इंतजार करने के लिए ही यहां जगह का अभाव है, ऐसे में स्टॉप पर गाय और घोड़ों के आ जाने से आमजनों को असुविधा होती है।
एक यात्री दिनेश कुमार सिंह कहते हैं कि कॉर्पोरेशन कार्यालय के पास आवारा पशुओं की हुड़दंग चिंताजनक है। जबकि सरकार ने मुख्य मार्ग समेत गलियों में बिना टैग के गायों और घोड़ों के घूमने पर प्रतिबंध और जुर्माना तय किया हुआ है, जो मजाक बनकर रह गया है।
गायों को सब्जियां व फल खिलाए
पीपल फॉर पीपल द्वारा सेवा कार्यक्रम के तहत चेन्नई बेंगलूरु हाइवे स्थित श्री पाश्र्व पद्मावती गौशाला में करीब 300 गायों को खीरा-ककड़ी, पालक, केले एवं हरी घास खिलाई गई।
सेवा कार्यक्रम का सुभारम्भ प्रांगण में स्थित मंदिर में पूजा अर्चना के पश्चात सुरु हुई। इस कार्य में ललित जैन, कांतिलाल जैन, महेंद्र भंडारी, उत्तम जैन, अनिल गोठी, हनुमान सुखलेचा,विमल भंडारी समेत अनेक लोगों का सहयोग रहा।