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छिंदवाड़ा

Investigation: आखिर क्यों शुरू नहीं हो सकी यह जांच

सागौन जब्ती की सीसीएफ ने अमरवाड़ा एसडीओ को एक माह पहले सौंपी थी जिम्मेदारी
 

छिंदवाड़ाFeb 22, 2020 / 11:40 am

manohar soni

 sagon ki katai

वनमाफिया ने पेड़ों को काट, जंगल में ही सिल्लियां बनाकर ले गए।

छिंदवाड़ा/पूर्व वनमण्डल की छिंदवाड़ा रेंज के अंतर्गत सारंगबिहरी सर्किल के उभेगांव में 14 नग सागौन जब्ती के संदिग्ध मामले की जांच सीसीएफ ने अमरवाड़ा एसडीओ को सौंपी लेकिन वह अभी तक शुरू नहीं हो सकी है। इससे इस केस की वास्तविकता उजागर नहीं हो पा रही है और ना ही आरोपियों को सजा नहीं मिल पा रही है।
दिसम्बर माह के इस उलझे प्रकरण में यह था कि पूर्व वन मण्डल के कर्मचारियों द्वारा उभेगांव मार्ग पर अवैध रूप से रखी गई 14 नग सागौन ल_े जब्त की गई थी। इस बीच सीसीएफ के उडऩदस्ते द्वारा इसी लकड़ी को एक कारीगर के घर से जब्त किया गया था। उस पर वन अधिनियम के तहत प्रकरण भी दर्ज किया गया था। इस बीच सवाल यह उठा कि आखिर किसने कार्रवाई की। इस मामले में वन अधिकारियों ने जांच प्रतिवेदन भी दिए। इस पर सीसीएफ संतुष्ट नहीं हुए। उन्होंने इसकी जांच अमरवाड़ा एसडीओ आलोक वर्मा को सौंपी। एक माह से अधिक समय होने जा रहा है,इसकी जांच न होना संकेत दे रहा है कि किसी न किसी संदिग्ध वन कर्मचारियों को बचाने की कोशिश जा रही है।
इस संबंध में जब जांच अधिकारी आलोक वर्मा से बात की गई तो उन्होंने कहा कि जांच के समय में जरूर देरी हुई है लेकिन वे सागौन जब्ती के इस मामले में न्याय जरूर करेंगे और आरोपियों पर कार्रवाई का प्रतिवेदन वरिष्ठ अधिकारियों को देंगे।

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