महर्षि विरोधी कांग्रेस पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं के मना करने के बाद भी मुख्य अतिथि अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सचिव काजी मो. निजामुद्दीन गेस्ट हाउस के बाहर आकर महर्षि से मिलकर उनसे चर्चा की। लेकिन महर्षि के पार्टी में शामिल करने व होने पर कोई टीका-टिप्पणी नहीं की। काजी ने कहा कि वे मिलना चाह रहे थे इसलिए उनसे मिला गया है। इससे पहले दर्जनों गाडिय़ों के साथ कार्यक्रम स्थल पर पहुंचे महर्षि समर्थकों ने जमकर नारेबाजी की और उन्हें कंधे पर बैठाकर सांकेतिक तौर पर जुलूस भी निकाला। ज्ञातव्य हो कि पिछले चुनाव में कांग्रेस का बगावत करने पर पार्टी से निकाल दिया गया था।
पीएम मोदी को बताया नाजी व फांसीवादी इससे पहले सचिव निजामुद्दीन ने बैठक को संबोधित करते हुए प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी को फांसीवादी व नाजीवादी विचारधारा का अनुयाई बताया। उन्होंने कहा कि मोदी ने देश में अराजकता का माहौल बना दिया। बार-बार संचार सेवाओं को बंद कर आपातकाल की तरफ देश को ले जाने का प्रयास किया जा रहा है। मोदी ने अब संप्रदाय को छोड़कर एक जाति को दूसरी जाति से लड़ाने का काम शुरू कर दिया है। अनुसूचित जाति के लोगों के साथ अत्याचार तेजी से बढ़ा है। मुख्यमंत्री पर तंज कसते हुए कहा कि महारानी को राजस्थान की जनता से डर लगने लगा है। इसलिए लोगों की आवाज को कुचलने के लिए सांवराद में पुलिस की भीड़ जुटा दी है। उन्होंने कहा आनंदपाल कुछ भी हो लेकिन पुलिस ने जिस तरह से उसकी हत्या की है, वह कानून के खिलाफ है। खुलासा होने के डर से सरकार सीबीआई जांच नहीं करवा रही।
जमकर लगाई फटकार इस दौरान बोलने के लिए हो हल्ला करने पर आरिफ पीथीसर व राधेश्याम चोटिया को जमकर फटकार लगाई। यहां तक कह दिया कि यहां आप कुछ भी कर लें लेकिन मैं फिर बाद में किसी की नहीं सूनुंगा। इस पर कई कार्यकर्ता खामोश हो गए। लेकिन कुछ इधर-उधर कानाफूसी करते रहे।
बुडानिया बोले: आपको नहीं भूल सकता राज्यसभा सांसद नरेन्द्र बुडानिया संबोधन के दौरान हमीदा बेगम का नाम लेना भूल गए थे। लेकिन बोलने से पहले हमीदा पर उनकी नजर पड़ी तो वे बोले हमीदा जी वे अपने जीवन में आपको नहीं भूल सकते। इसके अलावा पीसीसी महासचिव भंवर अजीतसिंह, पीसीसी सचिव कृष्णा पूनिया, जिला सह प्रभारी व पीसीसी सचिव जियाउर रहमान आरिफ व मंगलाराम गोदारा, सचिव खानू खां बुधवाली, सचिव चयनिका उनियाल, आनंद मंगल, सुरज्ञान घोशल्या, प्रताप पूनिया, महिला प्रकोष्ठ अध्यक्ष निर्मला सिंघल, अजा/जजा जिलाध्यक्ष विद्याधर मेघवाल, रणजीत सातड़ा, गोविन्द महनसरिया, अनिल शर्मा, करतार टांडी, सभापति सिकंदर खिलजी, ताराचंद बुडानिया, नरेश गोदारा, हुसैन सैयद, यूथ कांग्रेस जिलाध्यक्ष प्रमेन्द्र सिहाग, एनएसयूआई जिलाध्यक्ष किशनलाल आदि ने विचार व्यक्त किया। संचालन कल्याणसिंह शेखावत ने किया।
जानिए, बैठक में किस पर किसने साधा निशाना… – विरोध व गतिरोध रोकने के लिए जिलाध्यक्ष भंवरलाल पुजारी व जिला प्रभारी शंकर पन्नू ने कार्यकर्ताओं को आपसी-खींचतान की बात नहीं रखने के लिए पाबंद किया।
-पूर्व मंत्री हमीदा बेगम ने कहा चूरू में जो भी बैठक होती है उसमें उन्हें नहीं बुलाया जाता। यहां पर एक व्यक्ति के घर पर बैठक होती। वे अपनी पीड़ा किसके सामने रखे। – पीसीसी उपाध्यक्ष मकबूल मंडेलिया ने कहा कि चूरू में विरोध टिकट को लेकर है। टिकट की लड़ाई सब दिन रही है और रहेगी। सभी को टिकट नहीं मिलेंगे, टिकट नहीं मिलेते कार्यकर्ता की तरह पार्टी में काम करें। लोगों को भ्रमित नहीं करें।
– पूर्व कांग्रेस प्रत्याशी पूसाराम गोदारा ने कहा कि जो पार्टी की बगावत कर निर्दलीय व दूसरी पार्टियों से चुनाव लड़ते हैं वे पार्टी के गद्दार लोग हैं। उन्हे पार्टी में किसी कीमत पर नहीं आने दिया जाए।गद्दारों ने पार्टी की पीठ में छूरा घोंपा है।
– कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व मंत्री रहे इन्द्रसिंह पूनिया ने कहा कि पार्टी के अंदर कई समस्याएं हैं। लेकिन उन्हे पदाधिकारियों का डर लग रहा है। बुढ़ापे में कोई कार्रवाई ना हो जाए इसलिए वे मुह नहीं खोलेंगे।
– ओबीसी प्रकोष्ठ के जिलाध्यक्ष बजरंग सेन ने कहा कि कई नेता चोला-पायजामा पहनकर खुद को बड़ा नेता मान लेते हैं। लेकिन क्षेत्र में काम नहीं करना चाहते। जब तक महिलाओं व युवाओं के साथ सभा-संपर्क नहीं करेंगे तब तक कुछ
नहीं होगा। – सादुलपुर ब्लॉक अध्यक्ष संजय पूनिया ने कहा कि उनके उपखंड में कई गुट हैं। हर गुट की अलग-अलग मीटिंग होती। इससे पार्टी कमजोर हो रही है।ऐसे लोगों पर कार्रवाई कर एकजुट करना चाहिए।
– तारानगर ब्लॉक अध्यक्ष पुष्कर दत्त इंदौरिया ने कहा कई पद खाली हैं लेकिन वे नहीं भरे जा रहे। आपसी खींचतान को दरकिनार कर पदों को भरा जाए तभी कांग्रेस मजबूत होगी।