इन लोगों से बात की तो इन्होंने कहा कि इस रास्ते का वह रोज पार करते हैं इसलिए उन्हें अब डर नहीं लगता है। मौके पर कुछ स्कूली बच्चों को भी रेलवे ट्रेक पार करते हुए देखा गया। विदित हो कि हालही में रेलवे ट्रेक पार करने के दौरान लोको वार्ड निवासी एक युवक की रेल के इंजन की टक्कर लगने से मौत हो गई थी। यहां ध्यान देने वाली बात यह है कि पथरिया फाटक को पार करने के लिए ओवर ब्रिज भी है। लेकिन टे्रक के नजदीक बसे लोको वार्ड व पथरिया फाटक के लोगों के द्वारा जल्दी के चक्कर में ओवर ब्रिज का उपयोग नहीं किया जाता है। लोको क्षेत्र में करीब पांच हजार से अधिक की आबादी रहती है। इनमें ९० फीसदी लोग रेलवे ट्रेक से होकर ही मुख्य बाजार की ओर आते हैं। रेलवे ओवर ब्रिज का उपयोग नहीं करने से भले ही इन लोगों को कुछ मिनटों की बचत हो जाती है। लेकिन रेलवे ट्रेक से निकलना कभी भी जानलेवा हो सकता है यह जानते हुए भी स्थानीय लोग अपनी आदत बदलने को तैयार नहीं हैं।