ओपीडी के समय नहीं मिले डॉक्टर जिला अस्पताल में ओपीडी का समय सुबह 8 से 1 बजे तक रहता है। ओपीडी के समय सैकड़ों मरीज इलाज के लिए जिला अस्पताल पहुंचते है। ये मरीज पहले पर्ची बनाने के लिए लाइन में लगते है व उसके बाद डॉक्टर के कक्ष के बाहर उनका नंबर लगता है। शनिवार को कई लोग इलाज कराने तो पहुंचे, लेकिन उन्हें डॉक्टर ही नहीं मिले। करीब 15 डॉक्टर ओपीडी के समय गायब थे। एसडीएम जीवनसिंह रजक जब औचक निरीक्षण के लिए पहुंचे तो ये लापरवाही भी उनके सामने आ गई। एक-एक कर जब वे हाजिरी रजिस्टर से डॉक्टरों की उपस्थिति का मिलान करने लगे तो 15 डॉक्टर मौजूद ही नहीं थे। नाराज एसडीम ने इन सभी को शोकाज नोटिस जारी किया है।
प्रसूता वार्ड में पूछा कोई पैसे तो नहीं मांगता जिला अस्पताल के प्रसूता वार्ड में सबसे अधिक पैसे मांगने की शिकायत पहुंचती है। कई बार इस कारण विवाद की स्थिति भी बनी है। एसडीएम रजक ने यहां पर प्रसूताओं के परिजन से चर्चा की व पूछा कि कोई पैसे तो नहीं मांगता, हालाकि किसी ने कोई शिकायत नहीं करी।
इमरजेंसी गेट तक नहीं आए वाहन, ऑटो भी हटेंगे जिला अस्पताल के इमरजेंसी गेट तक लोग अपने वाहन पार्किंग कर जाते है। इमरजेंसी गेट तक वाहनों की पार्किंग होने से कई बार गंभीर मरीजों को लेकर पहुंचा वाहन गेट से कुछ दूरी पर ही फंस जाता है। वाहन के नहीं निकलने से कई बार इलाज में भी देरी होती है। इस लापरवाही तरफ भी एसडीएम ने ध्यान देते हुए पार्किंग के कर्मचारियों को सख्त हिदायत जारी करी है। पार्किंग संचालक से कहा गया है कि अगर वाहनों की पार्किंग इमरजेंसी गेट पर मिली तो तुम्हारे खिलाफ भी एफआईआर दर्ज होगी। साथ ही हिदायत दी कि ऑटो भी अब पार्किंग स्थल के अंदर ही खड़े होंगे।
जिला अस्पताल का आकस्मिक निरीक्षण किया था। ड्यूटी समय में 15 डॉक्टर अनुुपस्थित थे, इन्हें शोकाज नोटिस दिया जाएगा। प्रसूता वार्ड से पैसा मांगने की शिकायत लगातार मिल रही थी। लेकिन पूछताछ में ऐसा कुछ नहीं मिला। साफ सफाई पहले से बेहतर मिली है। जिला अस्पताल में अब शिकायत नंबर लगवाए जाएंगे जिस पर एसडीएम, तहसीलदार सीएमएचओ के नंबर अंकित रहेंगे। साथ ही हर वार्ड के बाहर शिकायत पेटी भी लगाई जाएगी जो हमारे एक्जिक्यूटिव मजिस्ट्रेट के समक्ष ही खुलेगी।
जीवनसिंह रजक
एसडीएम देवास
जीवनसिंह रजक
एसडीएम देवास