नहर सर्वे आश्वासन पर माने थे किसान
यहां बता दें कि ३५ गांव के किसानों के द्वारा दो माह पूर्व नहर का मुद्दा उठाते हुए गांव गांव से जनमत लिया गया है। इसके बाद लोगों ने एकजुट होकर खेतों तक पानी के बाद ही आंदोलन बंद करने की बात तय की है। इसको लेकर अभी पिछले दिनों किसानों के द्वारा बाजार बंद भी कराया गया। मगर तब जिला प्रशासन के अफसरों व जल संसाधन विभाग के द्वारा किसानों को नवीन नहर निकासी सहित अन्य स्त्रोतों से खेतों तक पानी पहुंचाए जाने का सर्वे कराए जाने की बात तय की। जिसके बाद किसान भी मान गए और सर्वे भी शुरू हो गया। मगर अभी शुक्रवार को विधानसभा में नहर सर्वे होने के बाद भी मंत्री ने नवीन नहर की बात को सिरे से नकार दिया था।