25 दिसंबर 2025,

गुरुवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

चार महीने पहले खोद दी सडक़, पाइप नहीं डाले, परिषद में हंगामा, पार्षदों का धरना

सभापति की अनुपस्थिति में पैनल सभापति दिनेश दीक्षित ने अधिकारियों को आदेश दिया कि मौके पर पहुंचकर एक दिन में समस्या का निराकरण करें।

2 min read
Google source verification
चार महीने पहले खोद दी सडक़, पाइप नहीं डाले, परिषद में हंगामा, पार्षदों का धरना

चार महीने पहले खोद दी सडक़, पाइप नहीं डाले, परिषद में हंगामा, पार्षदों का धरना,चार महीने पहले खोद दी सडक़, पाइप नहीं डाले, परिषद में हंगामा, पार्षदों का धरना,चार महीने पहले खोद दी सडक़, पाइप नहीं डाले, परिषद में हंगामा, पार्षदों का धरना

ग्वालियर। अमृत योजना के कार्यों में हो रही लेट लतीफी पर सोमवार को जल विहार में हुई परिषद की बैठक में जमकर हंगामा हुआ। पार्षद आसंदी के सामने धरने पर बैठ गए। उनका कहना था कि गड्ढे तो खोद दिए गए, लेकिन उनमें पाइप नहीं डाले गए। सभापति की अनुपस्थिति में पैनल सभापति दिनेश दीक्षित ने अधिकारियों को आदेश दिया कि मौके पर पहुंचकर एक दिन में समस्या का निराकरण करें।

परिषद की कार्रवाई शुरू होते ही पार्षद बृजेश गुप्ता ने हंगामा करते हुए कहा कि 4 महीने पहले उनके यहां पानी की लाइन डालने के लिए खुदाई तो कर दी, लेकिन अभी तक पाइप नहीं डाले हैं। उन्होंने आसंदी घेर ली और वहीं धरने पर बैठ गए। उनके साथ पुरुषोत्तम टमोटिया, सुरजीत सिंह भदौरिया, जय सिंह सोलंकी आदि पार्षद भी बैठ गए और कहा कि जब तक कार्य नहीं हो जाता वह धरने से नहीं उठेंगे। हंगामा बंद नहीं हुआ तो पैनल सभापति दिनेश दीक्षित ने बैठक 10 मिनट के लिए स्थगित कर दी। बैठक पुन: शुरू होने पर काफी समझाने के बाद पार्षदों ने धरना खत्म किया। सभापति ने प्रभारी आयुक्त आरके श्रीवास्तव को निर्देश दिए कि वह पार्षदों से चर्चा कर उनके क्षेत्र में जाएं और समस्या का निराकरण करें।

7 साल से आ रहा है गंदा पानी
पार्षद हरीपाल ने कहा कि उनके क्षेत्र में 7 साल से गंदा पानी आ रहा है, निगम अधिकारी ध्यान नहीं देते, इससे क्षेत्रवासी परेशान हैं। इस पर सभापति ने अधिकारियों को समस्या का निराकरण करने के निर्देश दिए।

निगम से बनेगा टे्रड लाइसेंस
शहरी सीमा में ट्रेड लाइसेंस निगम द्वारा बनाए जाने का प्रस्ताव परिषद में रखा गया, जिसे स्वीकृति प्रदान की गई। हालांकि धर्मेन्द्र राणा ने कहा कि यह प्रस्ताव तो जून में ही आ जाना चाहिए था, इसमें देरी क्यों हुई, जो अधिकारी जिम्मेदार हैं उन पर कार्रवाई की जानी चाहिए। इसके अलावा निगम स्वामित्व की दुकान, मल्टीलेवल पार्किंग, हॉल किराए पर देने का प्रस्ताव भी पास कर दिया गया।

अपर आयुक्त ने लिखित मांगी माफी
निगम अपर आयुक्त राजेश श्रीवास्तव ने मीडिया में दिए बयान पर लिखित में खेद व्यक्त किया। लेकिन पार्षद बलवीर तोमर सहित अन्य इस बात को लेकर अड़े थे कि वह खुद मौजूद होकर परिषद में माफी मांगे।

सफाईकर्मियों ने की नारेबाजी
निगम सफाईकर्मियों को वेतन नहीं मिला है, जिसके चलते सभी एकत्रित होकर जल विहार पहुंच गए और परिषद के बाहर जमकर नारेबाजी की।