प्रतिदिन बढ़ रहे 7-10 पैसे
वर्तमान में स्थिति यह है कि पेट्रोल-डीजल के दाम प्रतिदिन 7-10 पैसे बढ़ रहे हैं। जबकि इसके मुकाबले कटौती काफी कम हो रही है। यही कारण है कि दाम इतने ऊंचे स्तर पर पहुंच गए हैं। पांच माह में प्रति लीटर सादे पेट्रोल के दाम में 5.31 एवं डीजल में 6.33 रुपए की बढ़ोतरी हुई है। शनिवार को सादा पेट्रोल 84.33 रुपए एवं डीजल 74.15 रुपए प्रति लीटर पहुंच गया। यह अब तक के सबसे अधिक दाम हैं। स्पीड पेट्रोल के दाम भी 5.22 रुपए प्रति लीटर बढ़े हैं।
वर्तमान में स्थिति यह है कि पेट्रोल-डीजल के दाम प्रतिदिन 7-10 पैसे बढ़ रहे हैं। जबकि इसके मुकाबले कटौती काफी कम हो रही है। यही कारण है कि दाम इतने ऊंचे स्तर पर पहुंच गए हैं। पांच माह में प्रति लीटर सादे पेट्रोल के दाम में 5.31 एवं डीजल में 6.33 रुपए की बढ़ोतरी हुई है। शनिवार को सादा पेट्रोल 84.33 रुपए एवं डीजल 74.15 रुपए प्रति लीटर पहुंच गया। यह अब तक के सबसे अधिक दाम हैं। स्पीड पेट्रोल के दाम भी 5.22 रुपए प्रति लीटर बढ़े हैं।
बाइक-कार चलाना मुश्किल
शहर के पेट्रोल पंपों से मिली जानकारी के मुताबिक एक अप्रैल को सादा पेट्रोल 79.2 रुपए लीटर, स्पीड 82.9 रुपए एवं डीजल के दाम 67.82 रुपए प्रतिलीटर थे। 1 मई को सादा पेट्रोल के 80.3 रुपए, स्पीड के 83.1 रुपए तथा डीजल के 69.24 रुपए प्रति लीटर थे। जून में ये दाम बढ़कर 83.77 रुपए, 86.75 रुपए एवं 72.71 रुपए प्रतिलीटर पर पहुंच गए। जुलाई में कुछ कमी आई, लेकिन अगस्त में फिर दाम बढ़ गए। सितंबर के पहली तारीख में दामों में ज्याद बढ़ोतरी हो गई।
शहर के पेट्रोल पंपों से मिली जानकारी के मुताबिक एक अप्रैल को सादा पेट्रोल 79.2 रुपए लीटर, स्पीड 82.9 रुपए एवं डीजल के दाम 67.82 रुपए प्रतिलीटर थे। 1 मई को सादा पेट्रोल के 80.3 रुपए, स्पीड के 83.1 रुपए तथा डीजल के 69.24 रुपए प्रति लीटर थे। जून में ये दाम बढ़कर 83.77 रुपए, 86.75 रुपए एवं 72.71 रुपए प्रतिलीटर पर पहुंच गए। जुलाई में कुछ कमी आई, लेकिन अगस्त में फिर दाम बढ़ गए। सितंबर के पहली तारीख में दामों में ज्याद बढ़ोतरी हो गई।
बाइक चलाना हुआ मुश्किल
शहर में रहकर कोचिंग करने वाले राहुल व्यास का कहना है। बेरोजगार लोगों के लिए आज के समय में कार और बाइक चलाना काफी मुश्किलभरा काम हो गया है। क्योंकि लगातार बढ़ रहे दामों के कारण बजट जेब से बाहर होता जा रहा है। कुछ यही हाल कार चलाने वाले नौकरीपेशा लोगों को भी है।
शहर में रहकर कोचिंग करने वाले राहुल व्यास का कहना है। बेरोजगार लोगों के लिए आज के समय में कार और बाइक चलाना काफी मुश्किलभरा काम हो गया है। क्योंकि लगातार बढ़ रहे दामों के कारण बजट जेब से बाहर होता जा रहा है। कुछ यही हाल कार चलाने वाले नौकरीपेशा लोगों को भी है।
विरोध प्रदर्शनों का असर नहीं
जब भी कभी पेट्रोल-डीजल के दामों में बड़ी बढ़ोत्तरी होती है। इसके बाद विप की तरफ से लगातार विरोध प्रदर्शन किया जाता है। इसको लेकर कभी बैलगाड़ी रैली निकाली जाती है तो कभी सड़क पर खाना पकाया जाता है। लेकिन बढ़ते दामों पर लगाम नहीं लग पा रही है।
जब भी कभी पेट्रोल-डीजल के दामों में बड़ी बढ़ोत्तरी होती है। इसके बाद विप की तरफ से लगातार विरोध प्रदर्शन किया जाता है। इसको लेकर कभी बैलगाड़ी रैली निकाली जाती है तो कभी सड़क पर खाना पकाया जाता है। लेकिन बढ़ते दामों पर लगाम नहीं लग पा रही है।