लाभ के पथ पर लाने का प्रयास करेंगे
घाटे में चल रहे निगम को लाभ के पथ पर लाने का प्रयास करेंगे। छह माह में इस घाटे को ठीककर निगम को लाभ के पथ पर लाया जाएगा। 1997 में 140.32 करोड़ रुपए ऋणभार के साथ केएसआरटीसी ने अलग हुआ निगम घाटे में ही चलता आया है। 2008-09 में विजयपुर विभाग को संस्था से अलग कर उत्तर पूर्व कर्नाटक राज्य पथ परिवहन निगम में शामिल करने से उस वर्ष घाटा नहीं हुआ था। वर्ष 2012 में तत्कालीन मुख्यमंत्री जगदीश शेट्टर के कार्यकाल में निगम के वाहनों के कर के सरकार ने ही भुगतान किया था। वर्ष 2009 से 2019 तक घाटे की राशि वर्ष दर वर्ष बढ़कर 881.53 करोड़ रुपए हुई है।निगम जनता की सेवा के लिए समर्पित
उन्होंने कहा कि निगम घाटे में होने के कारण कर्मचारियों के पेंशन, ग्राच्यूटी, वेतन नकदीकरण सुविधा देने में देर हो रही है। निम प्रति दिन 70 लाख रुपए का घाटा झेल रहा है तो नए से आरम्भ हुए बीआरटीएस से प्रतिमाह एक करोड़ रुपए का घाटा हो रहा है। निगम जनता की सेवा के लिए समर्पित है।यात्रा किराए में छूट दी
पाटील ने कहा कि वर्ष 2019-20 में चार लाख 68 हजार 725 विद्यार्थियों, 33 हजार 393 विकलांगों, चार हजार 511 दृष्टिहिनों, 460 स्वतंत्रता सेनानियों समेत शहीदों की पत्नियों, गोवा मुक्ति आंदोलनकारियों, एंडोसल्फान पीडि़तों को रियायत दर के पास वितरित किए गए हैं। वरिष्ठ नागरिकों को यात्रा किराए में छूट दी गई है।बस स्टैण्ड व डिपो का विकास किया जाएगा
उन्होंने कहा कि कर्मचारियों को ऑनलाइन आधारित अवकाश, वरिष्ठता तथा काउंसलिंग के जरिए कर्तव्य पर तैनात किया जा रहा है। शीघ्र ही 6 30 नए वाहनों को शामिल किया जाएगा। 2500 चालक कर्मचारियों को नियुक्त किया जाएगा। 14 नए बस स्टैण्ड, छह डीपो का निर्माण, पुराने बस स्टैण्ड तथा डिपो का विकास किया जाएगा।संवाददाता सम्मेलन में भाजपा नेता मोहन लिंबिकाई, मल्लिकार्जुन साहुकार, शंकरण्णा मुनवल्ली, लिंगराज पाटील, महेश टेंगिनकाई, वीरेश संगलद समेत कई उपस्थित थे।