(डेमो पिक )
प्रमोद मिश्रा@ इंदौर. प्रदेश की बिजनेस कैपिटल इंदौर तेजी से महानगर की ओर अग्रसर है। एयरपोर्ट को अंतरराष्ट्रीय दर्जा मिल चुका है। सुविधाएं बढ़ रही हैं, लेकिन रेलवे स्टेशन के वैभव में विस्तार नहीं हुआ, जिससे महानगरीय रेलवे स्टेशन की झलक नहीं मिलती।
जिस तरह शहर को नई ट्रेनें मिल रही हैं, नई परियोजनाओं पर काम चल रहा है, इस लिहाज से रेलवे स्टेशन को भी महानगरीय स्वरूप देने की दरकार है। इंदौर-मनमाड़ व खंडवा रूट के बाद महाराष्ट्र व दक्षिण भारत के शहरों के लिए सीधी ट्रेनें मिलेंगी। यात्रियों का दबाव बढऩे के साथ ही शहर की प्रतिष्ठा भी बढ़ेगी।
ऐसे में विशेषज्ञों की राय है कि इंदौर रेलवे स्टेशन पर सुविधा के साथ सुंदरता बढ़े। रेलवे यात्री सुविधा समिति सदस्य नागेश नामजोशी, परामर्श समिति सदस्य अजीतसिंह नारंग ने प्रस्ताव तैयार किया, जिसे लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन के माध्यम से रेल मंत्रालय को सौंपेंगे।
बदल सकते हैं सूरत
नामजोशी का कहना है रेलवे स्टेशन के सामने एमआर-4 के हिस्से को स्टेशन परिसर में शामिल करने से पुलिस क्वार्टर व अन्य ऑफिस भी एक ही परिसर में आ जाएंगे। मल्टी स्टोरी बिल्डिंग बनाकर पार्किंग, क्वार्टर व व्यावसायिक प्रकोष्ठ के साथ आधुनिक यात्री प्रतिक्षालय, सुविधागृह जैसी सुविधाएं जुटा सकते हंै। इस स्थिति में वाहन सरवटे बस स्टैंड से पटेल प्रतिमा होकर आरएनटी मार्ग तथा शास्त्री ब्रिज के पास से झाबुआ टॉवर होकर जा सकते हैं।
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जगह की कोई कमी नहीं
– रेलवे स्टेशन की मुख्य बिल्डिंग के सामने की जगह कार स्टैंड, मैजिक-वैन के स्टैंड के रूप इस्तेमाल हो रही है।
– सामने एमआर-4 है, लेकिन पूरी तरह से व्यवस्थित नहीं है।
– आगे वाहन पार्किंग की खुली जगह है। साइड में नया भवन बन रहा हैं।
– एमआर-4 के उस पार रेलवे पुराने पुलिस क्वार्टर, स्वास्थ्य केंद्र, छात्रावास, कम्युनिकेशन सेंटर व रेलवे एसपी का घर है।
– सामने रेलवे एसपी का ऑफिस, पीछे व साइड में पुराने क्वार्टर व सामुदायिक भवन हैं।
– साइड में रेलवे आरक्षण केंद्र व पुराने पार्किंग की खाली जमीन उपलब्ध है।