समें बिजली कंपनियों के अफसरों के अलावा स्वतंत्र प्रतिनिधि भी होगा, जिसका चयन सीधे राजस्थान विद्युत विनियामक आयोग करेगा। आयोग ने बिजली उपभोक्ताओं को बड़ी राहत देते हुए शुक्रवार को विनियम 2021 जारी कर दिए। इसमें उपभोक्ता शिकायत निवारण फोरम, विद्युत लोकपाल और उपभोक्ता पक्षकार स्तर पर कई बदलाव किए गए हैं।
इनके अधिकार बढ़ाए, जनता की सहूलियत:
अभी सब डिविजन स्तर पर 10 हजार रुपए, डिविजन पर 25 हजार और सर्किल स्तर पर 3 लाख रुपए तक के विवादित मामले सुलझाए जाते रहे हैं। अब यहां क्रमश 20 हजार, 50 हजार और 5 लाख रुपए तक के मामलों का निपटारा हो सकेगा। सामान्य प्रकृति की शिकायत, बिल सुधार का निवारण संबंधित अधिकारी स्तर पर ही होगा।
यह भी सहूलियत:
-आंतरिक शिकायत निवारण प्रकोष्ठ, उपभोक्ता शिकायत निवारण फोरम और विद्युत लोकपाल में शिकायत निवारण के लिए शुल्क नहीं लगेगा।
-आंतरिक शिकायत निवारण प्रकोष्ठ और जोनल लेवल फोरम 3 माह में गठन करना होगा। तब तक शिकायत निवारण का मौजूदा तंत्री ही जारी रहेगा। मुख्य अभियंता इस फोरम के प्रमुख होंगे। उपभोक्ता सुविधा के लिए फोरम का कार्यालय पूर्णकालिक आधार पर काम करेगा।
-उपभोक्ता शिकायत निवारण फोरम में पोर्टल माध्यम से शिकायतों के पंजीकरण के लिए मोबाइल ऐप बनेगा।
-शिकायत पंजीकृत डाक, ईमेल व ऑनलाइन माध्यम से भी भेज सकेंगे।
-शिकायकर्ता को कानूनी सलाह और सहायता के लिए उपभोक्ता पक्षकारी प्रकोष्ठ का गठन होगा।