एक तरफ राज्य सरकार सरकारी विद्यालयों में नामांकन बढ़ाने के लिए दो प्रवेशोत्सव मनाने के साथ ही शिक्षकों को नामांकन बढ़ाने का लक्ष्य दे रही हैं। दूसरी तरफ इस विद्यालय में पढ़ाने वाले शिक्षकों की कमी के चलते विद्यार्थियों की संख्या कम हो रही है।पूर्व में यहां पर करीब ९० विद्यार्थियों का नामांकन था।लेकिन शिक्षकों की कमी के चलते विद्यार्थी यहां से अन्य विद्यालय में पढऩे जाने को मजबूर है। अब ६०-६५ विद्यार्थियों का ही नामांकन रह गया हैं।
अधरझूल में विद्यार्थियों का भविष्य
गत सत्र में दो शिक्षक थे। लेकिन इस सत्र में एक दृष्टिहीनशिक्षक होने से करीब ६५ विद्यार्थियों का भविष्य अधरझूल हो गया। आठवीं तक के विद्यार्थियों को एक शिक्षक कैसे पढ़ाएंगे। शिक्षा विभाग की ओर से समय रहते इस विद्यालय में शिक्षकों की नियुक्ति नहीं की गई तो विद्यार्थियों का भविष्य अंधकारमय हो जाएगा।
ग्रामीणों ने कलक्टर से लगाई गुहार
घाणा ग्राम पंचायत के बरवा ग्राम के राजकीय संस्कृत विद्यालय गोपालवाड़ी में शिक्षकों को लगाने की मांग को लेकर गुरुवार को ग्रामीणों ने जिला कलक्टर को ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में ग्रामीण जेठाराम, हड़मानराम, देवीसिंह, जोईताराम, वागाराम, थानाराम, गोबरराम ने बताया कि विद्यालय में एक ही दृष्टिहीनशिक्षक होने से विद्यार्थियों की पढ़ाई प्रभावित हो रही हैं। विद्यार्थियों के भविष्य के साथ खिलवाड़ हो रहा हैं। उन्होंने जल्द ही शिक्षकों को लगाने की मांग की हैं।
बच्चों की पढ़ाई प्रभावित
विद्यालय में शिक्षकों की कमी के चलते विद्यार्थियों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है। विभाग को समय रहते शिक्षकों की नियुक्ति करनी चाहिए।
-वीरमाराम, ग्रामीण
एक शिक्षक के भरोसे
विद्यालय में एक ही दृष्टिहीनशिक्षक होने से विद्यार्थियों को विषय ज्ञान नहीं मिल पाएगा। शिक्षकों की कमी के चलते विद्यालय में नामांकन कम हो रहा है।
कल्याणसिंह, ग्रामीण