scriptसहमति के बाद याची का लाई डिटेक्टर टेस्ट करवाने के निर्देश | Instructions for conducting lie detector test after consent | Patrika News
जोधपुर

सहमति के बाद याची का लाई डिटेक्टर टेस्ट करवाने के निर्देश

पुलिस महानिरीक्षक (उदयपुर रेंज) को मामले का सुपरविजन करने को कहा

जोधपुरNov 15, 2019 / 01:21 am

yamuna soni

सहमति के बाद याची का  लाई डिटेक्टर टेस्ट करवाने के निर्देश

सहमति के बाद याची का लाई डिटेक्टर टेस्ट करवाने के निर्देश

जोधपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने एक बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका में याचिकाकर्ता की सद्भाविक पड़ताल के लिए जांच अधिकारी को सहमति प्राप्त करने के बाद लाई डिटेक्टर या नार्को टेस्ट करवाने के निर्देश दिए हैं। कोर्ट ने पुलिस महानिरीक्षक (उदयपुर रेंज) को मामले का सुपरविजन करने को कहा है।
न्यायाधीश संदीप मेहता और न्यायाधीश विजय बिश्नोई की खंडपीठ में चित्तौडगढ़़ के बस्सी निवासी एक पिता ने बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका दायर कर बताया कि उसकी बेटी का एक युवक राकेश सुथार ने दुबारा अपहरण कर लिया। पुलिस उसकी बेटी को अब तक ढूंढ नहीं पाई है। कोर्ट ने पाया कि याचिकाकर्ता की बेटी 6 जुलाई, 2018 को गायब हुई थी, जिसकी गुमसुदगी रिपोर्ट उसी दिन दर्ज करवाई गई, लेकिन बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका करीब दस महीने बाद दायर की गई। मामले में कोर्ट के सामने कुछ अन्य तथ्य भी आए, जिसे देखते हुए खंडपीठ ने जांच अधिकारी को निर्देश दिए कि याचिकाकर्ता की सद्भाविक पड़ताल के लिए सहमति प्राप्त करने के बाद लाई डिटेक्टर या नार्को टेस्ट करवाया जाए। कोर्ट को बताया गया कि राकेश नामक जिस युवक पर दुबारा अपहरण का आरोप लगाया गया है, वह पूर्व में दर्ज अपहरण के मामले में फरार चल रहा है। पुलिस ने अब तक न फरार आरोपी को पकड़ा है, न ही गायब युवती का पता लगाया है। खंडपीठ ने पुलिस को फरार आरोपी को गिरफ्तार करने व गुमशुदा को ढूंढने के गंभीर प्रयास करने को कहा है। अगली सुनवाई 11 दिसंबर को विस्तृत तथ्यात्मक प्रतिवेदन पेश करने के निर्देश दिए गए हैं।
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