जोड़ों के दर्द, डायबिटीज, मोटापे और हृदय रोगों के जाल में फंसे कोटा के बाशिंदे दवाओं पर तो पैसा खर्च करने को राजी थे, लेकिन मुफ्त का ऐसा इलाज जो ताउम्र दवाओं से दूर रख सकता है उसे अपनाने को तैयार नहीं हो रहे थे। वजह थी मजह जागरूकता की कमी। तमाम कोशिशों के बाद जब अलसाया कोटा तड़के उठता नजर नहीं आया तो हार्टवाइज संस्था ने वर्ष 2016 में लोगों को सुबह उठ कर टहलने के लिए प्रेरित करने को छह किमी की वॉक ओ रन का आयोजन किया।
लोगों के कान में जब इस आयोजन का ध्येय वाक्य ‘जो रोज चलते हैं वह जिंदगी भर चलते हैंÓ पड़ा तो किशोर सागर के चारों ओर हुई इस चहलकदमी में हजारों लोग उमड़ पड़े।
शुरू किया नियमित आयोजन हार्टवाइज संस्था के डॉ. साकेत गोयल बताते हैं कि शुरुआत में मिली इतनी जबरदस्त सफलता ने पूरी टीम को इतना प्रेरित किया कि वॉकोरन का सालाना आयोजन करने के साथ ही लोगों को प्रेरित करने के लिए इनामी प्रतियोगिताओं का भी आयोजित करने का हौसला मिला। वर्ष 2017 में छह किमी की वॉकोरन के साथ पहली बार एक किमी की इनामी दौड़ भी शामिल की गई।
लोगों को 10 हजार कदम रोजाना चलने के लिए प्रेरित करने को आयोजन के दौरान मुफ्त पैडोमीटर भी बांटे गए। नतीजा चौंकाने वाला रहा और वॉकोरन के दूसरे संस्करण में पांच हजार से ज्यादा लोग शामिल हुए।
जुटे 25 हजार से ज्यादा लोग
कोटा के बाशिंदे जब 10 हजार कदम चलने को आगे आए तो वॉकोरन को और भी ज्यादा आकर्षक बनाने के लिए 10 किमी और 21 किमी की हाफ मैराथन को भी शामिल कर लिया गया। दुनिया भर के लोग कोटा आकर वॉक ओ रन का हिस्सा बन कोटा के लोगों को प्रेरित कर सकें इसके लिए हार्टवाइज संस्था ने इस बार हाफ मैराथन का ऑनलाइन पंजीकरण शुरू किया।
कोटा के बाशिंदे जब 10 हजार कदम चलने को आगे आए तो वॉकोरन को और भी ज्यादा आकर्षक बनाने के लिए 10 किमी और 21 किमी की हाफ मैराथन को भी शामिल कर लिया गया। दुनिया भर के लोग कोटा आकर वॉक ओ रन का हिस्सा बन कोटा के लोगों को प्रेरित कर सकें इसके लिए हार्टवाइज संस्था ने इस बार हाफ मैराथन का ऑनलाइन पंजीकरण शुरू किया।
नतीजे चौंकाने वाले रहे। देश ही नहीं दुनिया भर से तीन हजार से ज्यादा लोगों ने कोटा आने के लिए पंजीकरण कराया और जब हॉफ मैराथन शुरू हुई तो उस रोज 25 हजार से ज्यादा लोग कोटा की सड़कों पर दौड़ते नजर आए। हालांकि अब भी कोटा के बाशिंदों को प्रेरित करने के लिए छह किमी की वॉक को इस आयोजन का हिस्सा बनाए रखा गया।
8 दिसंबर को बनेगा नया रिकॉर्ड
डॉ. साकेत गोयल ने बताया कि इस बार भी छह किमी की वॉक ओ रन के साथ साथ 10 किमी और 21 किमी की हॉफ मैराथन का आयोजन किया गया है। जिसमें शामिल होने के लिए 28 नवंबर तक पंजीकरण कराया जा सकता है। उन्होंने बताया कि अभी तक का रिस्पांस बीते तीनों सालों से तिगुना है।
डॉ. साकेत गोयल ने बताया कि इस बार भी छह किमी की वॉक ओ रन के साथ साथ 10 किमी और 21 किमी की हॉफ मैराथन का आयोजन किया गया है। जिसमें शामिल होने के लिए 28 नवंबर तक पंजीकरण कराया जा सकता है। उन्होंने बताया कि अभी तक का रिस्पांस बीते तीनों सालों से तिगुना है।
दुनिया भर के दो दर्जन से ज्यादा देशों के धावक इस आयोजन का हिस्सा बनने के लिए अपना पंजीकरण करा चुके हैं। जिसे देखते हुए पिछले साल के मुकाबले ड्योढ़े लोगों के वॉक ओ रन में शामिल होने की पूरी उम्मीद है।