प्रदेश में छिंदवाड़ा में दिखा था, मालवा में पहली बार
कृषि विभाग के उपसंचालक डॉ. एएस राठौर ने बताया कि फाल आर्मी वर्म का प्रकोप जिले में पहली बार देखने को मिला है। अमेरिका के बाद दक्षिण अफ्रीका के साथ ही अन्य देशों में इस कीट का प्रकोप पाया गया था। और देश में कर्नाटक सहित अन्य प्रदेशों में पिछले सालों में दिखा था। प्रदेश में सबसे पहले फाल आर्मी वर्म कीट छिंदवाड़ा में देखा गया था। पिछले साल ङ्क्षछदवाड़ा में था। इस बार मालवा और जिले में इसका प्रकोप आया है। इसे नियंत्रित करने के लिए उपाय तो सुझाव है।
पौधों पर नहीं दिखता असर, मक्की कर देता है खत्म
जिले में वर्तमान स्थिति तक १० प्रतिशत मक्का की फसल को यह कीट प्रभावित कर चुका है। हालांकि विभाग इसका सर्वे करवा रहा है। लेकिन जानकारी के अनुसार मक्का में लगने वाला यह कीट पौधें से ही मक्का तक पहुंचाते है लेकिन मक्की और हर पत्तें के बीच पहुंचता है। किसानों को बाहर से पता नहीं चलता है। क्योंकि इससे न तो पौधों की चाल प्रभावित होगी और न हीं उसका हरा पन। पौधें में किसी प्रकार का अंतर नहीं आएगा, लेकिन यह मक्का को खत्म कर देता है।