मजलिस का आयोजन अलहाज सैयद शाह अब्बास सफवी ने किया। इसी क्रम में छोटी कर्बला चौड़ा कुंआ में मौलाना अब्बास बाकरी हैदराबादी और दरबारे हुसैनी जै़दी फार्म में मौलाना नदीम असगर तथा इमाम बारगाह पंजेतनी में मौलाना अम्मार हैदर रिज़वी ने इमाम हुसैन और शौहदाये कर्बला की शहादत बयां की। इसके उपरान्त हाजी जहीर आलम अंजुम के अज़ाखाने पंजेतनी पार्क से चंद लम्हों के लिये गुलाब के फूलों पर जुलजनाह बरामद होकर इमामबारगाह पंजेतनी पहुंचां जहां बड़ी संख्या में मौजूद हुसैनी सौगवार जियारत के लिये उमड़ पड़े। रात्री 12ः30 बजे सै0 4 शास्त्री नगर स्थित शाहजलाल हॉल में मंजलिस के बाद गश्ती जुलूस जुलजनाह बरामद हुआ। जो जै़दी फार्म के सभी इमामबारगाहों और अज़ाखानों से होता हुआ वापस प्रातः 3 बजे इसी स्थान पर पहुंचकर सम्पन्न हुआ। जुलूस के संस्थापक मसदर अली मरहूम, मौलाना सैयद काजिम अली जैदी आयोजक अली हैदर रिजवी रहे।
यह भी पढे़ : Muharram 2022 : इस्लाम और इंसानियत को बचाने के लिए गमगीन माहौल में उठाए अलम-ए-मुबारक रात में शहर सहित जै़दी फार्म, लोहिया नगर में सभी इमामबारगाहे व अज़ाखाने हुसैनी सौगवारों के लिये खुले रहे। हजारों पुरूष, महिलाओं और बच्चों ने जियारत की और दुआऐं मांगी। जैदी फार्म में जुलूस यहां भी रईस हुसैन मरहूम की अज़ाखाने जैदी चौक से 2 बजे जुलूस अलम.ए.मुबारक बरामद होकर दरबारे हुसैनी पुरानी कोठी पहुंचकर सम्पन्न हुआ। जिसमें बड़ी संख्या में हुसैनी सौगवारों और फौजे हुसैनी के रज़ाकारों ने मातम किया। आज गमगीन माहौल में मोहर्रम मनाया जाएगा। सुबह से ही ताजिया बनाने की तैयारी चल रही है।