अधिकारियों को आशंका है कि इस हाथी की मौत भी वैसे ही हुई है जैसे केरल के पलक्कड़ में गर्भवती हथिनी की हुई थी। यानी फल में विस्फोटक डाल कर खिलाया गया है।
कई सालों बाद इस बार मानसून ने बदली अपनी चाल, देश के कई राज्यों में अगले कुछ दिनों में बारिश करेगी बुरा हाल तमिलनाडु के कोयंबटूर में हाथी का शव मिलने से एक बार फिर हड़कंप मच गया है। बताया जा रहा है कि हाथी के मुंह में कुछ दिन पहले घाव हुए थे, उसके बाद ही उसकी मौत हो गई। अधिकारियों ने स्पष्ट तौर पर तो कुछ नहीं कहा, लेकिन उन्हें संदेह है कि ये मामला भी ठीक उसी तरह का है जिस तरह केरल के पलक्कड़ में गर्भवती हथनी के साथ हुआ था।
कैसे हाथी तक पहुंचा विस्फोटक वाला फल
दरअसल फसल को नुकसान पहुंचाने वाले जंगली सुअरों से बचाव के लिए किसान खेतों में पटाखों से भरे फल रखते हैं, ताकि ‘सुअर’ उनकी फसलों को ज्यादा नुकसान ना पहुंचा सकें। अब ये आशंका जताई जा रही है कि हाथी को भी यही फल खिला दिया गया है या फिर सुअरों के लिए रखा फल हाथी ने खुद खा लिया, जिसकी वजह से उसकी मौत हो गई।
कुछ दिन पहले केरल के पलक्कड़ में भी गर्भवती हथनी को कुछ लोगों ने विस्फोटक से भरा अनानास खिला दिया था, जिसके बाद तड़प-तड़प कर हथनी की मौत हो गई थी। इस घटना से पूरा देश स्तब्ध था। हर किसी ने आरोपियों के खिलाफ अपना गुस्सा भी जाहिर किया था।
ताजा मामला कोयंबटूर के अनईकट्टी गांव का है। बीते 20 जून को जंगल विभाग के अधिकारियों को सूचना मिली कि एक कमजोर जंगली हाथी जम्बूकांडी के खेत में खड़ा है और कुछ भी खा-पी नहीं पा रहा है।
दवा भी नहीं कर पाई असर
फॉरेस्ट रैंजर्स की एक टीम एस सुरेश के नेतृत्व में मौके पर पहुंची। पशु चिकित्सकों ने हाथी की जांच की और उसे फलों के अंदर दवा डालकर खिलाने की कोशिश की गई। इसके अलावा कुछ तरल दवाइयां भी हाथी को दी गई।
इन दवाइयों से कुछ देर के लिए हाथी की सेहत में सुधार दिखा, वो खेतों तक भी गया लेकिन ज्यादा समय तक पीड़ा के सह नहीं पाया।
कोरोना संकट के बीच पैरेंट्स अपने बच्चों को प्राइवेट स्कूल से निकालर सरकारी स्कूल में कर रहे शिफ्ट, आर्थिक तंगी बड़ा कारण हाथी की मौत के बाद जब डॉक्टरों ने उसकी जांच की तो देखा कि उसके मुंह में गंभीर चोट लगी थी। माना जा रहा है कि विस्फोटकों से से फल खाने के बाद हाथी को यह घाव लगा था। बहरहाल विस्फटकों से भरे फलों के चलते बेजुबानों की मौत ने एक बार फिर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है कि ये कितना जायज है।