मिली जानकारी के मुताबिक, दरिंदगी की यह घटना 2016 की है। कोर्ट ने आरोपी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। वारदात के समय पीड़िता 16 वर्ष की थी। घटना से लगभग पांच साल पहले उसने अपने पिता को खो दिया था और उसकी मां भी उसे छोड़कर चली गयी थी। जिसके कारण वह अपनी दादी के साथ रह रही थी। आरोपी भी उसी घर में सोता था, जहां पीड़िता रहती थी।
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जुलाई 2016 से दिसंबर 2017 के बीच आरोपी ने नाबालिग के साथ बार-बार रेप किया और वह गर्भवती हो गई। जब वह सात महीने की गर्भवती हुई तो सभी को सच का पता चल गया। जिसके बाद दादी ने गणेशपुरी पुलिस स्टेशन (Ganeshpuri Police Station) में शिकायत दर्ज कराई। मामला दर्ज होने के बाद पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया. उस पर बलात्कार से संबंधित विभिन्न अपराधों और यौन अपराधों से बच्चों की रोकथाम अधिनियम की धाराओं के तहत मुकदमा चलाया गया।
गवाहों और उपलब्ध रिकॉर्ड के आधार पर कोर्ट ने आरोपी को दोषी पाया। कोर्ट ने उसे उम्रकैद की सजा सुनाई। सजा के अलावा कोर्ट ने दोषी पर 10,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया।