सस्ता सोना लाते कहां से थे शातिर,
पहले कई बार दे चुके थे असली भी
नागौर. सोने के जरिए मोटा मुनाफा दिलाने के बहाने करीब पचास लाख की धोखाधड़ी के मामले में अब उलझन और बढ़ती जा रही है। पहले भी पीडि़त गुमानराम दिल्ली दरवाजा निवासी मोहम्मद अशफाक, मोहम्मद जफर, आबिद हुसैन और नौशाद अली से कई बार सस्ते में सोना लेकर मोटा मुनाफा कमा चुका है। सस्ता सोना कहां से आ रहा था, पुलिस अब इसकी जांच कर रही है। सूत्रों के अनुसार गुड़ला निवासी गुमानराम जाट इन चारों को सोने के लिए ही रकम देता था। किसी अन्य काम के लिए रकम देना या फिर मोटा ब्याज कमाने जैसी बात अभी सामने नहीं आई है। मोहम्मद अशफाक और उसके भाई मोहम्मद जफर के कई लोगों से पैसे के लेन-देन के विवाद की जानकारी सामने आई है, हालांकि ये मामले थाने-कोर्ट तक नहीं पहुंचे हैं। असल में ये चारों भाई बाजरवाड़ा में सोने-चांदी का शोरूम चलाते तो हैं पर गुमानराम को पहले कई बार सस्ता सोना देने की बात किसी के गले नहीं उतर रही। यह भी स्पष्ट नहीं हुआ कि ये सस्ता सोना लाते कहां से हैं।
सूत्रों का कहना है कि मोहम्मद अशफाक और मोहम्मद जफर ने गुमानराम को बता रखा था कि वो बैंक अथवा अन्य फाइनेंस कम्पनी से नीलामी में सोने के जेवरात बोली में सस्ते छुड़ाकर आगे मोटे लाभ में बेचने का काम भी करते हैं। अब पुलिस इसकी भी जांच कर रही है कि आखिर सस्ता सोना इन्हें किस बोली में मिलता रहा है, जो ये गुमानराम को बेचते थे। इस पर शंका इसलिए है कि कोई बैंक या फाइनेंस सोने के जेवरात की नीलामी करेगा तो क्या इन्हीं को बताएगा। गुमानराम को 54 लाख की एवज में पंद्रह सौ ग्राम के जो पांच पैकेट दिए गए वो डली के रूप में थे जो देखने में ही नकली नजर आ जाते हैं। पुलिस जहां गुमानराम से दस्तावेज/बिल आदि मांग रही है, वहीं इन चारों आरोपियों की भी तलाश कर रही है।