मालदीव का यह जहाज तीन दिन पहले बृहस्पतिवार को मालदीव के थुलुसढू से दूसरे द्वीप एल. गान जा रहा था, इसी बीच वह अचानक लापता हो गया। इसमें चालक दल के छह सदस्य सवार थे। मालदीव ने जहाज को ढूंढऩे में भारत से मदद मांगी थी जिसपर भारतीय नौसेना के एक ड्रोन एयरक्राफ्ट को कल काम पर लगाया गया, जिसने सघन तलाशी के बाद शनिवार शाम को मालदीव की राजधानी माले से कोई 120 समुद्री मील दूर मारिया जहाज को ढूंढ निकाला।
इसके बाद मारिया को सुरक्षित निकालने के लिए आईएनएस किर्च को मौके पर भेजा गया और जरुरी मदद पहुंचाई गई। इस अभियान में मालदीव की नौसना भी शामिल हुई। नौसेना के प्रवक्ता कैप्टन डी.के. शर्मा ने यहां बताया कि जहाज का आगे का रैम्प क्षतिग्रस्त हो गया था, जिसके चलते वह आगे नहीं बढ़ पा रहा था।
मालदीव में भारत के राजदूत अखिलेश मिश्रा ने लापता जहाज को तलाशने में भारत की नौसेना और मालदीव नैशनल डिफेंस फोर्स के बीच बेहतर तालमेल की सराहना की। उन्होंने कहा, ‘भारतीय नौसेना के अधिकारियों के साहसपूर्ण और पेशेवर प्रयास पर मैं गर्व महसूस कर रहा हूं। बेहद विषम मौसम में नौसेना ने जिस तरह से बचाव अभियान चलाया वह तारीफ के लायक है।’