scriptTrafficking Racket: हैदराबाद में बच्चा बेचने वाले रैकेट का भंडाफोड़, 13 बच्चों का हुआ रेस्क्यू, एक बच्चे की कीमत इतने रुपए | Child trafficking racket busted in Hyderabad, 13 children rescued, one child worth 5 lakh | Patrika News
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Trafficking Racket: हैदराबाद में बच्चा बेचने वाले रैकेट का भंडाफोड़, 13 बच्चों का हुआ रेस्क्यू, एक बच्चे की कीमत इतने रुपए

Trafficking Racket in Hyderabad: राचकोंडा हैदराबाद के पुलिस आयुक्त तरुण जोशी ने बताया कि बच्चों को कथित तौर पर गरीब परिवारों से लाकर बेचा गया था। रेस्क्यू ऑपरेशन में 2 महीने से दो साल तक की उम्र के 13 शिशुओं को बचाया गया है और एक RSP डॉक्टर सहित 11 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।

नई दिल्लीMay 30, 2024 / 01:43 pm

Akash Sharma

children trafficking racket in hydrabad
Child Trafficking Racket: ग्रेटर हैदराबाद के राचकोंडा कमिश्नरेट में पुलिस ने एक अंतर्राज्यीय बाल बेचने वाले रैकेट का भंडाफोड़ किया है और 13 शिशुओं को बचाया है। रेस्क्यू किए गए बच्चों में चार लड़के और नौ लड़कियां शामिल हैं। इनमें सबसे छोटी बच्ची लगभग दो महीने की है। पुलिस ने 22 मई को एक पंजीकृत डॉक्टर (RMP) शोभा रानी को 4.50 लाख रुपये में एक बच्चा बेचने के आरोप में गिरफ्तार किया और जांच शुरू की। राचकोंडा पुलिस आयुक्तालय के अंतर्गत मेडिपल्ली पुलिस ने आठ महिलाओं सहित 11 लोगों को गिरफ्तार किया। इन्होंने दिल्ली और पुणे के तीन आरोपियों से बच्चों को खरीदा था।
Baby trafficking racket in Hyderabad

क्या कहते हैं अधिकारी

राचकोंडा के पुलिस आयुक्त तरुण जोशी ने बताया कि बच्चों को कथित तौर पर गरीब परिवारों से लाकर उन्हें 1.8 लाख से 5.5 लाख रुपये में बेचा गया था। 2 महीने से दो साल तक की उम्र के 13 शिशुओं को बचाया गया है और एक आरएमपी डॉक्टर सहित 11 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तार किए गए सभी लोग तेलंगाना और पड़ोसी आंध्र प्रदेश के रहने वाले हैं। उनसे पूछताछ में पता चला कि उन्हें दिल्ली और पुणे के तीन लोग बच्चे सप्लाई कर रहे थे।
वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि कुछ लोग दिल्ली और पुणे से लाए गए बच्चों को अवैध रूप से ले जा रहे थे और उन्हें विजयवाड़ा और हैदराबाद में बेच रहे थे। वो जोड़े जो कानूनी पचड़ों के कारण गोद लेने में देरी नहीं करना चाहते थे, वे उनसे बच्चों को खरीद रहे थे और उनके लिए 4 से 5 लाख रुपये देने को तैयार थे। बचाए गए बच्चों की उम्र दो महीने से तीन साल के बीच है। इनमें से नौ बच्चियां हैं जबकि बाकी चार लड़के हैं। अधिकारी ने बताया कि जब तक उनके असली माता-पिता नहीं मिल जाते, तब तक उन्हें बाल कल्याण विभाग को सौंप दिया जाएगा।

‘हम बच्चे को कानूनी रूप से गोद लेने का अवसर चाहते हैं’

बच्चा खरीदने वाले एक व्यक्ति ने बताया कि हमने एक RMP डॉक्टर से एक बच्चा खरीदा है। उसका नाम शोभा रानी है। उसने बच्चे के लिए ₹ 4 लाख मांगे। हमने उसे चार लाख दिए और बच्चे को ले लिया। उसने हमें बताया कि माता-पिता बहुत गरीब हैं, इसलिए हमने पिछले एक साल से बच्चे को रखा हुआ है। उसने माता-पिता के बारे में जानकारी नहीं दी। अगर असली माता-पिता मिल जाते हैं, तो हम बच्चे को छोड़ने को तैयार हैं।  एक अन्य व्यक्ति ने बताया कहा कि उन्होंने बच्चे को अपनी बहन के लिए लिया था, जो मां नहीं बन सकती थी। उनका कहना है हम इस बच्चे के लिए लड़ेंगे। हमने इसे अपने बच्चे की तरह प्यार किया है। बच्चे के असली माता-पिता आगे नहीं आते हैं, तो हम बच्चे को कानूनी रूप से गोद लेने का अवसर चाहते हैं। एक अन्य माँ बेहोश हो गई जब उसका बच्चा उससे छीन लिया गया। वह अपने बच्चे के लिए लगातार रोती जा रही थी।

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