CBI अफ़सरों से मिली जानकारी के मुताबिक़ आरोपी अभियंता ठेकेदार से एक सरकारी आवासीय कॉलोनी का काम जारी रखने के लिए यह रिश्वत ले रहा था। अभियंता को गिरफ़्तार करने के बाद केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो की टीम इंजीनियर के घर पर पहुँची। घर पर छापे के दौरान सीबीआई को सरकारी आवास से 20 लाख रुपये से अधिक मिले।
मिली जानकारी के मुताबिक़ दीपक कुमार नाम के ठेकेदार ने बुधवार सुबह सीबीआई को शिकायत की थी। दीपक कुमार की फर्म सीमाद्वार स्थित सरकारी आवासीय कॉलोनी का निर्माण कर रही है। इस निर्माण की देखरेख सीपीडब्ल्यूडी का सहायक अभियंता संदीप कुमार कर रहा था। दीपक कुमार ने सीबीआई को बताया कि संदीप कुमार वहां बार-बार आता और काम में बाधा डालता था। जब वह कमी निकालने का कारण पूछते तो कोई जवाब नहीं मिलता था। तंग आकर दीपक ने इंजीनियर से मामला सुलझाने की जब बात कही तो इंजीनियर संदीप कुमार ने दीपक कुमार से साढ़े पांच लाख रुपये रिश्वत मांगी।
संदीप से फिर फोन पर बात की। दीपक कुमार ने इस बातचीत को मोबाइल फोन में रिकॉर्ड कर लिया और मेमोरी कार्ड सीबीआई को सौंप दिया। सीबीआई ने तत्काल इस मामले में मुकदमा दर्ज कर ट्रैप की तैयारी की। सीबीआई की टीम दीपक कुमार के साथ संदीप के आवास के पास खड़ी हो गई। दीपक कुमार ने एक लाख रुपये की रिश्वत जैसे ही संदीप कुमार के हाथ में थमाई, सीबीआई की टीम ने उसे रंगेहाथ गिरफ्तार कर लिया। संदीप कुमार मूल रूप से ग्राम महाराजपुर, लक्सर, हरिद्वार का रहने वाला है। सीबीआई ने संदीप कुमार के सरकारी आवास पर भी छापा मारा। वहां से 20.49 लाख रुपये नकद और कई महत्वपूर्ण दस्तावेज भी बरामद किए। उसके लक्सर स्थित आवास पर भी सीबीआई छापे के लिए पहुंची है।