कई भारतीय भारवर्ग बदल कर उतर रहे हैं
टोक्यो ओलंपिक 2020 की तैयारियों के मद्देनजर कई भारतीय मुक्केबाज इस टूर्नामेंट में अपना भारवर्ग बदल कर उतरने जा रहे हैं। छह बार की विश्व चैंपियन एमसी मैरी कॉम भी इस टूर्नामेंट में 48 किग्रा भारवर्ग के बदले 51 किग्रा में उतरेंगी। वह इस भार वर्ग में पहली बार खेलेंगी। उनके अलावा एशियाई चैंपियनशिप के 81 किग्रा वर्ग में स्वर्ण पदक जीतने वाली पहली भारतीय पूजा रानी 75 किग्रा में उतरेंगी तो एशियाई चैंपियनशिप की कांस्य पदक जीतने वाली मनीषा मौम भी पहली बार 57 किग्रा में उतरेंगी। टूर्नामेंट में पिछली बार की रजत पदक विजेता सिमरनजीत कौर भी अब 64 किग्रा भारवर्ग के बदले 60 किग्रा में अपनी चुनौती पेश करेंगी। 2017 की यूथ विश्व चैंपियनशिप की स्वर्ण पदक विजेता अंकुशिता बोरो 64 किग्रा में चुनौती पेश करेंगी।
मैरी कॉम खुद को परखना चाहती हैं
ओलंपिक और विश्व चैंपियनशिप की तैयारियों के मद्देनजर मैरी कॉम ने पिछले महीने एशियाई चैंपियनशिप में भाग नहीं लिया था। उन्होंने कहा कि 51 किग्रा वर्ग के लिए उनकी तैयारी अच्छी है। इस टूर्नामेंट में वह अपना सर्वश्रेष्ठ देने को तैयार हैं। विश्व चैंपियनशिप से पहले इस टूर्नामेंट में वह अपनी तैयारियों को परखना चाहती हैं। उन्हें इस बात की खुशी है कि इस बार यह टूर्नामेंट पूर्वोत्तर राज्य असम में किया जा रहा है। पूर्वोत्तर में ढेरी सारी प्रतिभाएं हैं और उम्मीद है कि हमारे मुकाबले देखकर वे प्रेरित होंगे।
पुरुष वर्ग में भारतीय चुनौती इनके हाथ में
एशियाई चैंपियनशिप के स्वर्ण पदक विजेता अमित पंघल 52 किग्रा में यहां अपने पिछले प्रदर्शन को दोहराना चाहेंगे तो एशियाई चैंपियनशिप में लगातार चार पदक जीतने वाले शिवा थापा 60 किग्रा में। वहीं 2017 विश्व चैंपियनशिप के कांस्य पदक विजेता और अर्जुन पुरस्कार के लिए नामित किए गए गौरव बिधूड़ी 56 किग्रा भारवर्ग में हिस्सा लेंगे।
70 हजार अमरीकी डॉलर है इनामी राशि
इस टूर्नामेंट की इनामी राशि 70000 अमरीकी डॉलर है। भारतीय मुक्केबाजी महासंघ (बीएफआई) के अध्यक्ष अजय सिंह ने कहा कि भारतीय मुक्केबाजों के लिए इंडिया ओपन एक शानदार मौका है। विश्व चैंपियनशिप की तैयारियों के मद्देनजर उनका सामना कुछ शीर्ष मुक्केबाजों से होगा। इस चौम्पियनशिप में एशियाई और विश्व चैंपियन खिलाड़ी भी शिरकत कर रहे हैं।