महिला जिला अस्पताल प्रतापगढ़ एसएनसीयू में संविदा पर कार्यरत नवजात शिशुओं के डाक्टर आरके पांडेय की तबीयत उस वक्त बिगड़ गई जब उन्हें एक अफसर का फोन आया। मिली जानकारी के अनुसार शुक्रवार को महिला अस्पताल में बाल स्वास्थ्य पोषण माह का शुभारंभ कार्यक्रम था। इस कार्यक्रम में जिलाधिकारी की पत्नी समेत चिकित्सा विभाग के कई लोग मौजूद थे। कार्यक्रम खत्म होने के बाद डा. पांडेय समेत विभाग के लोग सीएमएस डा. रीता दुबे के कक्ष में बैठकर चाय पी रहे थे और आपसी बात- चीत का दौर जारी था। इसी बीच वहां मौजूद एनआरएचएम के डीपीएम राजशेखर ने किसी बात पर डॉ. पांडेय को यार कहकर संबोधित कर दिया तो उन्होंने यार शब्द पर आपत्ति जता दी। इस पर डीपीएम राजशेखर नाराज हो गए। बहरहाल उस वक्त मामला शांत हो गया।
डॉ का आरोप है कि इसके कुछ देर बाद एनआरएचएम के डीपीएम राजशेखर ने उनको फोन किया और उनको धमकी दी। कई अमर्यादित शब्दों का प्रयोग करते हुए अपमानित किया। इस धमकी को डा. पांडेय ने मोबाइल में रिकार्ड कर लिय। और वह सीएमएस डा. रीता दुबे के पास गए और उनको आडियो सुनाया इस दौरान डॉ की तबीयत बिगड़ गई। इसके बाद उनके साथी डॉ उन्हें डा. आरडी के पास ले गए। जहां उनका परीक्षण कर दवा दे दी गई। वहीं दूसरी ओर कहा जा रहा है कि मामले को विभाग के लोग दबाने में लगे हुए है। एनआरएचएम के डीपीएम राजशेखर ने बताया कि डा. पांडेय का व्यवहार ठीक नहीं है इस वजह से उनको ठीक से बात करने को कहा, धमकी नहीं दी।
मामले में डा. रीता दुबे, सीएमएस, जिला महिला अस्पताल का कहना है कि डा. आरके पांडेय मेरे पास आए थे। उन्होंने एक अफसर द्वारा अपमानित किए जाने की बात बताई लेकिन लिखित में कोई शिकायत नहीं की। वह लिखित देंगे तो मामले को विभाग के आला अफसरों के समक्ष रखा जाएगा।