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रायगढ़

जीत दर्ज करने इतनी आसान नहीं गोमती और लालजीत की राह

-दोनों की छवि सीमित है अपने-अपने जिलों तक, जनता को रिझाना बड़ी चुनौती -नाम घोषणा के बाद लोग नेट पर ढूंढते दिख रहे थे गोमती साय को

रायगढ़Mar 24, 2019 / 12:39 pm

Vasudev Yadav

जीत दर्ज करने इतनी आसान नहीं गोमती और लालजीत की राह

जीत दर्ज करने इतनी आसान नहीं गोमती और लालजीत की राह

रायगढ़. भाजपा ने विधानसभा में करारी हार के बाद संसदीय चुनाव में सभी चेहरे नए उतार दिए हैं। रायगढ़ संसदीय सीट की बात करें तो यहां से भाजपा और कांग्रेस ने दो अपने उम्मीदवार उतारे हैं उन दोनों की पहचान पूरे संसदीय क्षेत्र में पूरी तरह से नहीं है। इस आधार पर देखा जाए तो दोनों ही प्रत्याशियों को दो जिलों की जनता को रिझाने के लिए कड़ी मशक्कत करनी पड़ेगी।
रायगढ़ लोकसभा सीट के इतिहास की बात करें तो अब तक यहां से जशपुर के उम्मीदवार ही चुनाव जीतते आए हैं। इसे देखते हुए भाजपा ने वहीं से नया चेहरा वहां की जिला पंचायत अध्यक्ष गोमती साय को उम्मीदवार घोषित किया है। वहीं दूसरी तरफ रायगढ़ से सांसद प्रत्याशी की उठ रही मांग और अधिक मतदाता संख्या को देखते हुए कांग्रेस ने रायगढ़ जिले यानि धरमजयगढ़ विधायक लालजीत राठिया को अपना उम्मीदवार घोषित किया है, लेकिन हकीकत यही है कि रायगढ़ का कांग्रेस प्रत्याशी जशपुर में और जशपुरी की भाजपा प्रत्याशी रायगढ़ में इतनी चर्चित नहीं है कि वह वहां के 30-40 प्रतिशत मतदाता के बीच अपनी छवि रखता हो।
हालत यह रही कि जिस दिन भाजपा ने गोमती साय का नाम फाइनल किया रायगढ़ में ज्यादातर लोग नेट में गोमती साय को सर्च करते रहे कि उनके बारे में कुछ जानकारी मिल जाए कि वहां कौन और कितनी छविवान नेता है। कुछ ऐसा ही जशपुर के लोगों के लिए कांग्रेस प्रत्याशी लालजीत राठिया को लेकर रहा, लेकिन अविभाजित मध्य प्रदेश में सात बार विधायक व मंत्री रहे पिता की छवि के साथ ही हाल ही में केंद्रीय मंत्री का दर्ज मिलने व लुंगी डांस के चलते लालजीत गोमती साय से अधिक चर्चित चेहरा माने जा रहे हैं।

जीत दर्ज करने इतनी आसान नहीं गोमती और लालजीत की राह

झेलनी पड़ सकती है बगावत
भले ही भाजपा और कांग्रेस ने दोनों प्रत्याशी नए उतारे हों, लेकिन दोनों ही पार्टी में सांसद के टिकट के लिए लंबी फेहरिस्त थी। ऐसे में नए चेहरों को हराने के लिए दावेदारों और उनके समर्थकों ने नीतियां बनानी शुरू कर दी है। शायद इस बात की आशंका पार्टी के आला नेताओं को भी लग चुकी है, इसी कारण दोनों पार्टी में मंथन और बैठक का दौर जारी है।

दो हस्तियों की साख दांव पर
इस बार के चुनाव में दोनों प्रत्याशियों के पीछे दो हस्तियों की साख भी दांव पर लगी हुई है। एक जहां गोमती साय के लिए जशपुर राजपरिवार खुलकर समर्थन कर रहा है और राजमहल के कद्दावर ने युद्धवीर सिंह जुदेव साय को जिताने की चुनौती स्वीकार कर चुके हैं तो वहीं कांग्रेस के प्रत्याशी लालजीत को जिताने के लिए उच्चशिक्षा मंत्री उमेश पटेल की साख दांव पर लगी हुई है।

प्रत्याशी एक नजर में
भाजपा सांसद प्रत्याशी
गोमती साय
पति : निरंजन साय
निवासी : ग्राम मुंडाडीह
ग्राम पंचायत : गारीघाट
विकासखंड : फरसाबहार
जन्म तिथि : 22 जून 1978
शैक्षणिक योग्यता हायर सेकंडरी
2005 में पहली बार जिला पंचायत सदस्य बनी
2010 में जनपद सदस्य
2015 में जिला पंचायत अध्यक्ष चुनी गई।
संगठन में जिला युवा मोर्चा महामंत्री एवं तपकरा भाजपा मंडल अध्यक्ष रही हैं।

कांग्रेस सांसद प्रत्याशी
लालजीत सिंह राठिया
पिता श्री चनेशराम राठिया
धरमजयगढ़ विधायक
पिता अविभाजीत मध्यप्रदेश मेें धरमजयगढ़ विधान सभा से लगभग 7 बार विधायक व केबिनेट मंत्री रहें।
जन्म : 19 मार्च 1977
शिक्षा : एमए राजनीति शास्त्र
राजनितिक सफर वर्ष 2000 से
पद : रायगढ़ जशपुर अविभाजित जिला पत्थलगांव कृषि उपज मण्डी के अध्यक्ष, छाल क्षेत्र से जिला पंचायत सदस्य, उपाध्यक्ष जिला पंचायत रायगढ़, वर्ष 2013 में धरमजयगढ़ विधायक और फिर वर्ष 2018 में धरमजयगढ़ विधायक बने

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