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VIDEO दक्षिण भारत की तरह रतलाम स्टेशन पर पत्तों में खाना मिलने की शुरुआत

Ratlam Station Food : अब तक दक्षिण भारत में आपने केले के पत्तों पर भोजन करते देखा है, अब इसकी शुरुआत पश्चिम रेलवे के रतलाम रेल मंडल में भी हो गई है। यहां पर महात्मा गांधी की १५०वीं जयंति के पूर्व रेलवे ने पर्यावरण बचाने की दृष्टि से बड़ा निर्णय लेते हुए प्लास्टिक को टाटा बोलते हुए दोनों में नाश्ता से लेकर भोजन देने की शुरुआत की है। रेलवे का ये नवाचार यात्रियों को पसंद आ रहा है।

रतलामSep 23, 2019 / 09:19 am

Ashish Pathak

Ratlam Station Food

Ratlam Station Food

रतलाम। Ratlam Station Food : पॉलिथीन मुक्ति का संकल्प अपना रहे रेलवे ने इस दिशा में दो बड़े कदम उठाए है। रतलाम रेलवे मंडल में डीआरएम ने नवाचार शुरू करते हुए स्टेशनों के सभी स्टॉल पर अब पेड़ के पत्तों में खाद्य सामग्री की परिकल्पना को अपनाने की शुरूआत कर दी है। डीआरएम ने खुद रविवार को एक ट्विट के जरिए इस नवाचार की जानकारी दी है। वहीं, राजधानी एक्सप्रेस में भी प्लास्टिक क्रश मशीन का उपयोग शुरू किया गया है। रतलाम रेलवे स्टेशन पर इस नवाचार की शुरुआत हो गई है। अब तक दक्षिण भारत में आपने केले के पत्तों पर भोजन करते देखा है, अब इसकी शुरुआत पश्चिम रेलवे के रतलाम रेल मंडल में भी हो गई है। यहां पर महात्मा गांधी की 150वीं जयंति के पूर्व रेलवे ने पर्यावरण बचाने की दृष्टि से बड़ा निर्णय लेते हुए प्लास्टिक को टाटा बोलते हुए दोनों में नाश्ता से लेकर भोजन देने की शुरुआत की है। रेलवे का ये नवाचार यात्रियों को पसंद आ रहा है।
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स्टॉल पर हरे पत्तों में कचोरी-समोसा
रेलवे ने मंडल के सभी स्टेशनों पर पॉलिथीन मुक्ति को लेकर अभियान भी चला रखा है। शहर में एक स्वच्छता रैली के जरिए संदेश दिया गया है तो स्टेशनों पर खाद्य सामग्री की बिक्री के दौरान सिंगल यूज प्लास्टिक को भी बैन कर दिया गया। इसके बाद डीआरएम आरएन सुनकर ने रविवार को ट्विट के जरिए बताया कि पॉलिथीन मुक्त स्टेेशन की परिकल्पना को साकार करने के उद्देश्य से मंडल के विभिन्न स्टेशनों के स्टॉलों पर खाद्य सामग्री देने के लिए पेड़ के पत्तों का इस्तेमाल शुरू किया जा रहा है।
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चलती ट्रेन में प्लास्टिक क्रश होगी
मुंबई-रतलाम-नई दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस में पॉलीथीन टेरेफ्थेलेट सिस्टम लगाया गया है। चलती ट्रेन में ही प्लास्टिक बोतल को क्रश किया जा रह है। इस माह शुरू हुए प्रयोग के सफल रहने पर इसको देशभर की ट्रेन में लागू किया जाएगा। रेलवे ने कर्शर मशीन को राजधानी एक्सप्रेस ट्रेन में स्वच्छ भारत और गो ग्रीन मिशन के अंतर्गत लगाया है। मशीन में प्रतिदिन करीब तीन हजार प्लास्टिक बोतलों को क्रश कर रहे है तो 90 पॉलिइथलीन टेरप्थलेट बोतलों को रिसाइकिल भी किया जा रहा है।
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Ratlam Station
नया प्रयोग शुरू किया
लगातार बिगड़ते पर्यावरण के बारे में हमारे पीएम से लेकर रेलमंत्री ने अपनी चिंता जाहिर की है। इसके बाद ये नया प्रयोग शुरू किया है। स्टेशनों के स्टॉल पर पेड़ के पत्तों में खाद्य सामग्री दी जाएगी।
– आरएन सुनकर, मंडल रेल प्रबंधक

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