सभी बच्चियों को घर भेजने के दिए निर्देश
सागर•Jul 08, 2020 / 08:58 pm•
sachendra tiwari
Wording school named ten girls in a building
बीना. ग्राम पीपरखेड़ी के पास स्थित यूफ्रेसिया भवन में दस बच्चियों के रुके होने की सूचना बुधवार को ***** संगठनों के लिए मिली थी। इसके बाद बड़ी संख्या में वह एकत्रित होकर भवन पहुंचे और प्रशासन को सूचना दी। मौके पर तहसीलदार, एसडीओपी, थाना प्रभारी पहुंचे और बच्चियों से बात की।
मिली जानकारी के अनुसार भवन में 5 से 12 वर्ष की दस बच्चियों को रखा गया है जो गुना, अशोकनगर और धौर्रा निवासी हैं। सूचना मिलने पर तहसीलदार संजय जैन ने पहुंचकर प्रबंधन से बात की तो प्रबंधन का कहना था कि वह बच्चियों को शिक्षा देने के लिए यहां रखे हुए हैं और उनके मां-बाप से भी अनुमति ली। वोर्डिंग स्कूल संचालित करने की भी बात कही, लेकिन जब अनुमति मांगी तो प्रस्तुत नहीं की गई। इसके बाद तहसीलदार ने बच्चों से बात की और प्रबंधन को सभी बच्चों के लिए घर भेजने के निर्देश दिए। अधिकारी मामले की जांच करने में जुटे हुए हैं। साथ ही मां-बाप के आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। पीपरखेड़ी के पास स्थित भवन शहर में स्थित निर्मल ज्योति स्कूल की संस्था बताई जा रही है। मौके पर विश्व ***** परिषद, श्री नरसिंह ***** संगठन, धर्म जागरण मंच के कार्यकर्ता उपस्थित थे।
कोरोना काल में हैं सभी स्कूल बंद
कोरोना काल के चलते सभी स्कूल पूरी तरह बंद हैं और इस स्थिति में दस बच्चियों को रखा गया है। इसकी जानकारी न तो प्रशासन को है और न ही शिक्षा विभाग के लिए। यदि बच्चियां संक्रमित हो जाती तो किसकी जिम्मेदारी होती।
बच्चियों ने कहा नहीं मिलता पर्याप्त खाना
***** संगठन के कार्यकर्ताओं ने पहुंचकर जब एक बच्ची की बात उसकी मां से कराई तो बच्ची रोने लगी और उसका कहना था कि हमें यहां से ले चलो यह लोग सिर्फ चावल खाने को दे रहे हैं, अच्छा खाना भी नहीं मिल रहा है। एक बच्ची ने बताया कि यह लोग मां-बाप से बात नहीं करने देते हैं जब उसने खाना खाने से इंकार किया था तब बात करने दी थी। यह बात बच्चियों ने एसडीओपी डीबीएस चौहान के सामने भी बोली।
दो बच्चियों के परिजन पहुंचे
प्रशासन की सूचना के बाद शाम को दो बच्चियों के परिजन भी आ गए थे और अधिकारियों ने उनके भी बयान लिए। सभी बच्चियों का स्वास्थ्य परीक्षण कराने के बाद ही उन्हें घर भेजा जाएगा।
कर रहे हैं समाजसेवा
भवन में मौजूद सिस्टर दर्शना ने बताया कि वह समाजसेवा का कार्य कर रही हैं। गरीब बच्चों को पढ़ाते हैं और शिक्षित कर उन्हें घर भेज दिया जाता है। जो भी बच्चे यहां आते हैं उन्हें मां-बाप की अनुमति से ही रखा जाता है।
बिना सूचना के रखा है बच्चियों को
वोर्डिंग स्कूल के नाम पर दस बच्चियों को बिना प्रशासन को सूचना दिए हुआ रखा गया है, जबकि अभी कोरोना काल चल रहा है। वोर्डिंग स्कूल की अनुमति भी नहीं मिली है। मां-बाप को सूचना देकर बुलाया गया था और शाम को दो बच्चियों के परिजन आ गए थे। उन्होंने अपनी मर्जी से बच्चियों को रखने की बात कही है। यह संस्था निर्मल ज्योति स्कूल की बताई जा रही है। बच्चियों के बयान, मां-बाप के बयान दर्ज कर रिपोर्ट तैयार कर रहे हैं। इसके बाद आगे की कार्रवाई होगी।
संजय जैन, तसहीलदार, बीना
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