आदिवासी बहुल्स इस गांव के लोगों ने बताया कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत निर्माण की मंजूरी मिली थी। वर्क ऑर्डर के बाद ठेका कंपनी ने काम भी शुरू कर दिया, लेकिन सड़क निर्माण पूरा किए बिना ही काम बंद कर दिया।
स्थानीय लोगों ने घटिया निर्माण का आरोप लगाते हुए शासन-प्रशासन से शिकायत की, लेकिन गंभीरता नहीं दिखाई। अफसरों ने कार्रवाई करने की बजाय बिल पास कर दिया। ग्रामवासियों ने एक बार फिर से लोकसभा चुनाव में मतदान न करने का निर्णय लिया है।
उल्लेखनीय है कि इससे पहले ग्रामीणों ने 2016 में हुए मैहर विधानसभा के उपचुनाव व चार महीने पहले हुए विधानसभा के आमचुनाव का भी बहिष्कार कर चुके हैं। स्थानीय जनप्रतिनिधि व प्रशासन के अधिकारी उन्हें हर बार आश्वासन देकर मनाने की कोशिश की, लेकिन सड़क आज तक नहीं बन सकी।