– फैसले के बाद भेजा गया जेल
सिवनी. जिला अदालत ने मंगलवार को एक रिश्वतखोर पटवारी को दोषी पाते हुए सजा सुनाई है। इसकी जानकारी मीडिया सेल प्रभारी मनोज सैयाम ने दी है।
बताया कि संतराम परते पिता विश्राम परते ग्राम सागर (ढुलबजा) तहसील छपारा को उसके ससुर ने कुछ जमीन दान में दी थी। उस जमीन पर उसे इंदिरा आवास योजना के तहत मकान बनाने के लिए 75 हजार रुपए सेक्शन हुआ था। उक्त योजना के तहत उस जमीन का नक्शा खसरा की आवश्यकता पड़ रही थी। उस क्षेत्र का हल्का नंबर 24/32 का तत्कालीन पटवारी दिनेश पिता भादूलाल वाड़ीवा निवासी कुम्हारी मोहल्ला मंगलीपेठ सिवनी नक्शा खसरा नहीं दे रहा था। खसरा देने के लिए उसे दो हजार रुपए रिश्वत की मांग किया था। इसकी शिकायत संतराम ने लोकायुक्त पुलिस जबलपुर से किया था। इस पर एक जून 2015 को पटवारी दिनेश वाड़ीवा द्वारा संतराम से एक हजार रुपए लेते हुए रंगे हाथ पकड़ा गया था। पटवारी के खिलाफ सभी कार्रवाई पूरी कर चालान प्रस्तुत किया गया था। इसकी सुनवाई राजऋषि श्रीवास्तव (विशेष न्यायाधीश भष्ट्राचार अधिनियम) के न्यायालय में विचारण किया गया। शासन की ओर से विशेष लोक अभियोजक दीपा मर्सकोले, जिला अभियोजन अधिकारी द्वारा साक्ष्य और तर्क प्रस्तुत किए गए। इस पर न्यायालय ने आरोपी पटवारी को दोषी पाते हुए धारा-07 में तीन वर्ष एवं पांच हजार रुपए जुर्माना तथा धारा-13 (1) डी. भष्ट्राचार अधिनयम में चार वर्ष एवं 5000 रुपए जुर्माना से दण्डित करने की सजा 30 अप्रैल को सुनाई है।