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यदि आप बच्चे के एडमिशन के लिए ढूंढ रहे हैं स्कूल तो हो जाइए सतर्क…पहले पढ़ें यह खबर

प्रारंभिक शिक्षा विभाग में मान्यता की इस साल 45 फाइलें प्राप्त हुई। इनमें से सात फाइलें दस्तावेजों के अभाव में अटकी हुई है। शेष फाइलों की जांच अभी तक पूरी नहीं हुई है।

सीकरJun 22, 2019 / 06:35 pm

Gaurav kanthal

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यदि आप बच्चे के एडमिशन के लिए ढूंढ रहे हैं स्कूल तो हो जाइए सतर्क…पहले पढ़ें यह खबर

सीकर. स्कूल खुलने के समय मान्यता मिलने की आस में जिले के सैकड़ों निजी स्कूल संचालक जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के चक्कर लगा रहे हैं। जिले में माध्यमिक शिक्षा स्तर के 56 आवेदन प्राप्त हुए। इनका निरीक्षण कर निदेशालय को अनुमोदन के लिए भेजे हुए हैं।
शिक्षा विभाग के टाइम फ्रेम के अनुसार 12 जून तक निदेशालय स्तर से इन आवेदनों का अनुमोदन होना था। लेकिन आज दिन तक अनुमोदन नहीं होने के चलते कार्रवाई आगे नही बढ़ पा रही हैं। जानकारी के अनुसार अनुमोदन होने के बाद 18 जून तक मान्यता के योग्य पाई जाने वाली संस्थाओं की स्थिति के आधार पर आरक्षित कोष की राशि के डीडी व एफडी का विवरण एवं दस्तावेज जिला शिक्षा अधिकारी तथा निदेशालय स्तर पर जमा नहीं हुई। 20 जून तक मान्यता प्रमाण पत्र स्कूलों को उपलब्ध करवाना था। 21 जून को मान्यता के लिए अपात्र संस्थाओं को सूचित करना था। लेकिन अभी तक इनमें से एक भी कार्रवाई नहीं हुई।
विभाग की लापरवाही से अटका काम
प्रारंभिक शिक्षा विभाग में मान्यता की इस साल 45 फाइलें प्राप्त हुई। इनमें से सात फाइलें दस्तावेजों के अभाव में अटकी हुई है। शेष फाइलों की जांच अभी तक पूरी नहीं हुई है। मान्यता प्रक्रिया आगे नहीं बढऩे का सबसे बढ़ा कारण विभाग की लापरवाही रही है। मार्च महीने से पोर्टल खुला हुआ है। लेकिन विभाग ने मई महीने निरीक्षण दलों का गठन किया। इसके चलते आवेदनों की जांच प्रक्रिया समय पर पुरी नहीं हुई। चार जून को पोर्टल बंद हो गया। 21 जून को पोर्टल वापस शुरू होना था, लेकिन देर शाम तक नहीं हुआ। पोर्टल बंद होने की वजह से दस्तावेजों के अभाव में अटकी फाइलों में संशोधन होने के बावजूद विभाग प्रक्रिया में शामिल नहीं कर पाया।
सीकर. धोद तहसील के पुरा बड़ी गांव के लोगों ने किसान सम्मान निधि योजना का लाभ दिलवाने की मांग की है। इसको लेकर सरपंच रेणु कंवर के नेतृत्व में तहसीलदार को ज्ञापन दिया गया। गांव के भंवरलाल कुलहरिया ने बताया कि योजना में गांव का एक भी किसान का पंजीयन नहीं हुआ है। इसके चलते पंजीयक पोर्टल पर राजस्व ग्राम पुरा बड़ी का नाम भी नहीं आ रहा है। इसके कारण पोर्टल पर ई साइन व भूमि वेटिंग नहीं हो पा रही है। इससे पुरा बड़ी व छोटी और नागवा गांव के किसानों को योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है। ज्ञापन में ऑन लाइन पोर्टल को सही करवाने की मांग की गई है।
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