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सूरत

Inter-caste marriage promotion scheme; 23 विवाहित जोड़ों ने उठाया इस योजना का लाभ

अंतरजातीय विवाह प्रोत्साहन योजना14 लाख की सहायतायुवक और युवती में एक का अनुसूचित जाति और दूसरे का उच्च जाति से होना जरूरी
विवाह के दो साल साथ रहने के बाद उन्हें एक लाख रुपए की सहायता विभाग द्वारा दी जाती है
Inter-caste marriage promotion scheme14 million helpIt is necessary for a young man and a woman to belong to the scheduled caste and the other to a higher caste.
After living together for two years of marriage, the department is assisted by one lakh rupees.

सूरतDec 10, 2019 / 07:27 pm

Sunil Mishra

Inter-caste marriage promotion scheme; 23 विवाहित जोड़ों ने उठाया इस योजना का लाभ

Inter-caste marriage promotion scheme; 23 विवाहित जोड़ों ने उठाया इस योजना का लाभ

वापी. देश में सामाजिक बुराई दूर कर अंतरजातीय विवाह को प्रोत्साहित करने वालों को सरकार द्वारा धनराशि दी जाती है। गुजरात सरकार द्वारा संचालित इस योजना का लाभ जिले में वर्ष 2016 से 2019 तक 23 जोड़ों ने उठाया है। जिन्हें 14 लाख रुपए की प्रोत्साहन राशि प्रदान की गई है। गुजरात अनुसूचित जाति कल्याण विभाग द्वारा अनुसूचित जाति और उच्च जाति के बीच विवाह को प्रोत्साहन देने के लिए डॉ. सविता बेन अम्बेडकर अंतरजातीय विवाह सहायता योजना अमल में है। इसके तहत युवक और युवती में एक का अनुसूचित जाति और दूसरे का उच्च जाति से होना जरूरी है। विवाह के दो साल साथ रहने के बाद उन्हें एक लाख रुपए की सहायता विभाग द्वारा दी जाती है। इन दिनों विवाह का सीजन चल रहा है। बहुत से युवक युवतियां जाति बंधन को तोडक़र विवाह करते हैं। लेकिन इस योजना के बारे में पर्याप्त जानकारी न होने से विभाग के पास आवेदन नहीं करते और लाभ नहीं मिल पाता है। समाज कल्याण अधिकारी के अनुसार इसके लिए लोगों में इसके प्रति जानकारी और जागरुकता के लिए प्रयास किया जा रहा है।
पहले दिए जाते थे 50 हजार
इस बारे में वलसाड जिला अनुसूचित जाति समाज कल्याण विभाग के अधिकारी जीतू पटेल ने बताया कि 2017 तक इस योजना में 50 हजार रुपए की प्रोत्साहन राशि दी जाती थी। बाद में इसे बढ़ाकर एक लाख रुपए कर दिया गया। इसके तहत अप्रेल 2018 से मार्च 2019 के दौरान आठ आवेदन आए थे। इसमें छह को नकद सहायता दी गई। वर्ष 2016-17 में भी आठ दंपतियों ने आवेदन किया था। जिन्हें चार लाख की सहायता दी गई। इसी तरह वर्ष 2017-18 में पांच लोगों ने इस योजना के तहत विवाह के बाद आवेदन किया, जिन्हें ढाई लाख रुपए की सहायता दी गई।
अन्य राज्यों के लोग भी पात्र
जानकारी के अनुसार इस योजना का लाभ गुजरात के अनुसूचित जाति के युवक – युवतियों को मिल सकता है। विवाह के बंधन में बंधने वाला जीवनसाथी अन्य राज्य का होने पर उसके लिए पांच साल से गुजरात में निवास करने का नियम है। ऐसे लोगों को जरूरी दस्तावेज जमा करने पर उसकी जांच के बाद योजना का लाभ मिल सकता है।
केन्द्र सरकार भी देती है मदद
उल्लेखनीय है कि जाति व्यवस्था की सामाजिक बुराई को खत्म करने और अंतरजातीय विवाह को प्रोत्साहन देने के लिए केन्द्र सरकार भी राशि देती है। केन्द्र सरकार द्वारा डॉ. अम्बेडकर स्कीम फॉर सोशल इंटीग्रेशन थ्रू इंटरकास्ट मैरिज के तहत यह आर्थिक मदद दी जाती है। इसमें अनुसूचित जाति की युवती से विवाह पर ढाई लाख रुपए दिए जाते हैं। इस योजना की शुरुआत 2013 में की गई थी।

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