वाहन और बिजली बिल की होगी जांच
स्कूल संचालक मंडल ने आरटीइ के तहत प्रवेश लेने वाले बच्चों के परिवार की जांच करने का फैसला किया है। प्रवेश प्रक्रिया पूर्ण होने के बाद संचालक मंडल बच्चों और परिवार की जांच करने उनके घर जाएंगे। फिलहाल वेकेशन के कारण स्टाफ की कमी है। 10 जून को स्कूल खुलते ही संचालक आरटीइ प्रवेश लेने वालों के घर टीम भेजने वाले हैं। घर में कितने वाहन हैं और बिजली का बिल क्या आता है, इन सबकी जांच की जाएगी। संचालक मंडल का कहना है कि कई अभिभावक गलत प्रमाण पत्र के आधार पर प्रवेश लेते हैं, इसलिए घर जाकर उनके बैंक खाते की जांच की जाएगी। नौकरी करते हैं तो टीम नौकरी स्थल पर भी जाएगी। कितना वेतन मिलता है, घर किराए का है तो कितना किराए देते हैं, कितने साल से किराए पर हैं, इसकी जांच होगी। घरों में एसी, फ्रीज और टीवी की भी जांच की जाएगी। प्रमाण पत्र असत्य पाए जाने पर प्रवेश को रद्द कर दिया जाएगा।
स्कूल संचालक मंडल ने आरटीइ के तहत प्रवेश लेने वाले बच्चों के परिवार की जांच करने का फैसला किया है। प्रवेश प्रक्रिया पूर्ण होने के बाद संचालक मंडल बच्चों और परिवार की जांच करने उनके घर जाएंगे। फिलहाल वेकेशन के कारण स्टाफ की कमी है। 10 जून को स्कूल खुलते ही संचालक आरटीइ प्रवेश लेने वालों के घर टीम भेजने वाले हैं। घर में कितने वाहन हैं और बिजली का बिल क्या आता है, इन सबकी जांच की जाएगी। संचालक मंडल का कहना है कि कई अभिभावक गलत प्रमाण पत्र के आधार पर प्रवेश लेते हैं, इसलिए घर जाकर उनके बैंक खाते की जांच की जाएगी। नौकरी करते हैं तो टीम नौकरी स्थल पर भी जाएगी। कितना वेतन मिलता है, घर किराए का है तो कितना किराए देते हैं, कितने साल से किराए पर हैं, इसकी जांच होगी। घरों में एसी, फ्रीज और टीवी की भी जांच की जाएगी। प्रमाण पत्र असत्य पाए जाने पर प्रवेश को रद्द कर दिया जाएगा।
अभिभावकों से लिया जा रहा है सहमति पत्र
प्रवेश के लिए आने वाले अभिभावकों से कई स्कूल सहमति पत्र भरवा रहे हैं। इसमें अभिभावकों का रहन-सहन, आय आदि आरटीइ के अनुसार है या नहीं, इसकी शपथ ली जा रही है। गलती पाए जाने पर प्रवेश रद्द करने की सहमति भी ली जा रही है। अभिभावकों से घर पर जांच करने आने का पत्र भी भरवाया जा रहा है।
प्रवेश के लिए आने वाले अभिभावकों से कई स्कूल सहमति पत्र भरवा रहे हैं। इसमें अभिभावकों का रहन-सहन, आय आदि आरटीइ के अनुसार है या नहीं, इसकी शपथ ली जा रही है। गलती पाए जाने पर प्रवेश रद्द करने की सहमति भी ली जा रही है। अभिभावकों से घर पर जांच करने आने का पत्र भी भरवाया जा रहा है।
स्कूलों ने तय किया है कि फिलहाल आरटीइ के तहत बच्चों को प्रवेश दे दिया जाए। वेकेशन समाप्त होते ही बच्चों के घर जाकर परिवार और आय के साथ उनके रहन-सहन की जांच की जाएगी। गड़बड़ी पाए जाने पर प्रवेश रद्द करने के साथ अभिभावक के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जाएगी।
महेश पटेल, प्रमुख, स्वनिर्भर शाला संचालक मंडल