स्मार्ट सिटी अंतर्गत महाकाल क्षेत्र विकास व विस्तारीकरण किया जा रहा है। जून मध्य में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा महाकाल कॉरिडोर सहित पहले चरण के विकास कार्यों का लोकार्पण प्रस्तावित है। प्रयास है कि इस दौरान रुद्रसागर के एक हिस्से को स्वच्छ जल से भरा जाए ताकि क्षेत्र की रमणीयता और बढ़ सके। इसके लिए रुद्रसागर में मिलने वाले सीवरेज को रोकने के साथ ही इसमें क्षिप्रा का साफ पानी उलेचा जाना है।
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शुक्रवार को प्रोजेक्ट की टेस्टिंग की गई। दिन में कुछ समय के लिए पंपिंग कर क्षिप्रा का पानी रुद्रसागर में छोड़ा गया। कलेक्टर आशीष सिंह ने भी मौके पर पहुंच टेस्टिंग का अवलोकन किया। आकलन किया जा रहा है कि कुछ दिन लगातार पंपिग करने पर त्रिवेणी संग्रहालय के नजदीक वाला रुद्रसागर का एक भाग पानी से लबालब हो सकेगा। हालांकि अभी प्रोजेक्ट टेस्टिंग मोड पर है और इस दौरान कई तकनीकी व भौगोलिक समस्याएं भी सामने आ सकती है जिन्हें समय रहते दूर करना पड़ेगा।
एक भाग का गहरीकरण किया
महाकाल क्षेत्र विकास व सौंदर्यीकरण में रुद्रसागर विशेष महत्व है। ऐसे में रुद्रसागर का गहरीकरण किया जाएगा। इसमें मिलने वाले सीवरेज को भी रोका जा रहा है। वर्तमान में रुद्रसागर के पिछेले भाग का गहरीकरण किया गया है। इसी भाग में क्षिप्रा का साफ पानी भरने की तैयारी की जा रही है। बाद में दूसरे भाग का गहरीकरण कर साफ पानी जमा करने की व्यवस्था की जाएगी। हालांकि रुद्र सागर विकास मृदा फेज-2 में शामिल है, जिसमें अभी थोड़ा समय लगेगा। रुद्र सागर में क्षिप्रा का साफ पानी जमा करने की योजना है। फिलहाल टेस्टिंग की गई है। इस दौरान कोई समस्या आती है तो उन्हें दूर किया जाएगा।
-आशीष पाठक, सीइओ स्मार्ट सिटी
नृसिंहघाट से लिफ्ट कर लाएंगे पानी
मृदा प्रोजेक्ट अंतर्गत रुद्र सागर में सीवरेज का गंदा पानी मिलने से रोककर साफ पानी उपलब्ध रखना है। बारिश के कारण वर्ष के आधे समय रुद्र सागर में पानी उपलब्ध रहेगा। शेष समय पानी उपलब्ध रखने के लिए कुछ नए स्रोत के साथ क्षिप्रा का सहारा लेने की योजना है। इसके लिए नृसिंहघाट से रुद्र सागर तक पाइप लाइन बिछाते हुए पंपिंग कर पानी उपलब्ध कराने का प्रोजेक्ट तैयार किया गया है। प्रायोगिक तौर पर पाइप लाइन से रुद्र सागर में पानी छोड़ा भी गया है। प्रोजेक्ट सफल होता है तो भविष्य में इसी के जरिए रुद्र सागर में जलापूर्ति की जाएगी।