२०२९ तक पौधों में लगेंगे फल
पत्नी को अमरुद काफी पसंद थे। वे हमेशा से जाम का बगीचा लगाने के लिए कहती थी। बगीचे की चर्चा महिदपुर रोड, ताल, आलोट तक होती है। इसलिए मानसून के पूर्व ही फलों के व्यापारी मुन्नालाल से बगीचे को बुक कर एडवांस राशि दे जाते है। वर्तमान वर्ष में इंदौर के एक व्यापारी ने २ लाख रुपए में बगीचा बुक करने का न्यौता दिया है। चार सालों से कर अच्छा मुनाफा कमा रहे जाट पौधों से २०२९ तक फल लेंगे।
मुन्नालाल जाट
बचपन से ही काफी पसंद है
अमरुद मुझे बचपन से ही काफी पसंद है। प्रजातियों के बात करें तो इलाहाबादी सफेदा, सरदार 49 लखनऊ, सेबनुमा अमरूद, इलाहाबादी सुरखा, बेहट कोकोनट, चित्तीदार, ढोलका, नासिक धारदार के बारे में पता है। इतने प्रकार के अमरुद कभी खाएं नहीं है। लेकिन इनकी प्रजातियों के बारे में पता है। पति के साथ खेती किसानी करना पसंद है।
सावित्रा बाई