प्रयागराज के फूलपुर इलाके में 11 अप्रैल 2009 की यह घटना है। विजय मिश्रा उस वक्त लोकसभा का चुनाव लड़ रहे थे और चुनावी सभा में पहुंचते ही फायरिंग हुई थी। इस मामले में कुल 12 लोगों की गवाही हुई थी। माफिया विजय मिश्रा वर्तमान में आगरा जेल में बद है।
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2020 से जेल में बंद है बाहुबली विधायकइससे पहले बहुबली विजय मिश्रा को ग्राम प्रधान के लेटर पैड पर फर्जी हस्ताक्षर मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने शर्त के साथ जमानत दे दी है। कोर्ट ने थाना गोपीगंज, संत रविदास नगर, भदोही में दर्ज आपराधिक मामले में सशर्त पूर्व विधायक विजय मिश्रा को रिहा करने का आदेश दिया। विजय मिश्रा 14 अगस्त 2020 से जेल में बंद है। यह आदेश न्यायमूर्ति अजय भनोट ने दिया।
भदोही पुलिस ने विधायक विजय मिश्रा के खिलाफ हत्या, लूट, अपहरण, रेप, मारपीट, संपत्ति हड़पने, जालसाजी, रंगदारी सहित गंभीर अपराधों के कुल 83 केस दर्ज किया है। गैंगस्टर एक्ट के आरोपी की करोड़ों रुपए की संपत्ति भी जब्त की जा चुकी है।
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सुरक्षा के लिए आगरा के सेंट्रल जेल में रखा गयावाराणसी में महिला सिंगर के साथ गैंगरेप मामले में शिकायत मिलने के बाद पूर्व विधायक को 2020 में मध्य प्रदेश के आगर से गिरफ्तार कर भदोही लागया गया था। सुरक्षा कारणों की वजह से विजय मिश्रा को आगरा के सेंट्रल जेल में रखा गया था।
विजय मिश्रा ने राजनीति में साल 1980 के आसपास कदम रखा था। शुरुआती दौर में उन्होंने एक पेट्रोल पंप खोला। इसके बाद विजय मिश्रा के कई ट्रक चलने लगे। इसी बीच विजय मिश्रा के परिचित पंडित कमलापति ने बाहुबली को चुनाव लड़ने को कहा। विजय मिश्रा साल 1990 में पहली बार वह ब्लॉक प्रमुख बन गए। उस दौरान विजय मिश्रा के संबंध राजीव गांधी से अच्छे हो गए थे। राजीव गांधी के जाने के बाद विजय मिश्रा का कांग्रेस से रिश्ता टूट गया।