Durga Maa Mantra: मां दुर्गा के 4 प्रिय मंत्रों का जाप शुक्रवार को करने से सभी बाधाएं दूर होती हैं और सुख-समृद्धि मिलती है। जानें कौन से हैं ये शक्तिशाली मंत्र और इनके लाभ।
Durga Maa Mantra: आज शुक्रवार का दिन है, जिसे विशेष रूप से मां दुर्गा को समर्पित माना जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस दिन अगर मां दुर्गा के मंत्रों का श्रद्धा और विश्वास के साथ जाप किया जाए, तो जीवन से सभी भय, बाधाएं और नकारात्मक ऊर्जा दूर हो जाती हैं। मंत्रों के उच्चारण से मन को शांति मिलती है, आत्मबल मजबूत होता है और व्यक्ति को जीवन में सफलता एवं सुख-समृद्धि की प्राप्ति होती है। शुक्रवार का दिन केवल देवी लक्ष्मी ही नहीं, बल्कि मां दुर्गा की आराधना के लिए भी अत्यंत शुभ माना गया है।
शास्त्रों में कहा गया है कि दुर्गा मां के मंत्रों का जाप करने से व्यक्ति के चारों ओर एक दिव्य ऊर्जा का घेरा बन जाता है, जो हर तरह के संकट से रक्षा करता है। यह मंत्र साधना केवल शुक्रवार को ही नहीं, बल्कि रोजाना करने से भी विशेष फल की प्राप्ति होती है। हालांकि, यह जरूरी है कि मंत्रों का उच्चारण शुद्ध और सही लय के साथ किया जाए। मंत्र जाप करते समय मां दुर्गा के स्वरूपों का स्मरण करना और सच्चे मन से प्रार्थना करना अत्यंत लाभकारी माना जाता है। अब जानते हैं दुर्गा मां के चार विशेष और प्रिय मंत्र, जिनका जाप जीवन को भय और कष्टों से मुक्त कर सकता है।
सर्वमंगल मांगल्ये शिवे सर्वार्थ साधिके।
शरण्ये त्र्यंबके गौरी नारायणि नमोऽस्तुते।।
यह मंत्र देवी दुर्गा के मंगलकारी स्वरूप का स्मरण कराता है। इसका जाप करने से सभी कार्यों में सफलता मिलती है और जीवन के सभी संकट दूर होते हैं।
ॐ जयन्ती मंगला काली भद्रकाली कपालिनी।
दुर्गा क्षमा शिवा धात्री स्वाहा स्वधा नमोऽस्तुते।।
यह मंत्र देवी के विभिन्न स्वरूपों का आह्वान करता है। इसे श्रद्धा से जपने पर साहस, आत्मबल और शांति की प्राप्ति होती है।
या देवी सर्वभूतेषु शक्तिरूपेण संस्थिता,
नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः।।
(इसी तरह देवी के लक्ष्मी, तुष्टि, माता, दया, बुद्धि और शांति स्वरूप का भी स्मरण किया जाता है।)
यह मंत्र बार-बार देवी को प्रणाम करने का भाव प्रकट करता है। इसका जाप करने से जीवन में शक्ति, समृद्धि, दया, शांति और ज्ञान की वृद्धि होती है।
नवार्ण मंत्र – ‘ॐ ऐं ह्रीं क्लीं चामुण्डायै विच्चै’
यह दुर्गा मां का अत्यंत शक्तिशाली बीज मंत्र है। इसे अधिक से अधिक बार जपने से व्यक्ति को आध्यात्मिक और सांसारिक दोनों प्रकार के लाभ प्राप्त होते हैं।