LLB Vs BA LLB: बीए एलएलबी 12वीं पास होने के बाद ग्रेजुएशन स्तर पर किया जा सकता है। यह 5 साल का इंटीग्रेटेड एग्जाम है।
LLB Vs BA LLB: ऐसे छात्र जो 12वीं के बाद लॉ में करियर बनाना चाहते हैं, उनके लिए ये खबर काम की है। काम के दृष्टिकोण से भले ही कानूनी पेशा चुनौतीपूर्ण मालूम होता हो लेकिन इसे काफी आकर्षक करियर माना जाता है। समाज में वकील और जज की अहम भूमिका है। आज के समय में जहां लोगों में अपने अधिकारों को लेकर जागरुक हो रहे हैं, ऐसे में ये करियर काफी डिमांड में है।
भारत में कानून की पढ़ाई में नए-नए ब्रांच खुल गए हैं। साथ ही डिग्री हासिल करने के बाद करियर के नए ऑप्शन भी मिल रहे हैं। यदि आप भी कानून की पढ़ाई करना चाहते हैं लेकिन कोर्स को लेकर कंफ्यूज हैं तो इस खबर को अंत तक पढ़ें।
बीए एलएलबी 12वीं पास होने के बाद ग्रेजुएशन स्तर पर किया जा सकता है। यह 5 साल का इंटीग्रेटेड एग्जाम है। इस कोर्स में वकालत के साथ-साथ इतिहास ,भूगोल, अर्थशास्त्र, समाजशास्त्र, राजनीति शास्त्र और भाषा (हिंदी या अंग्रेजी) भी पढ़ सकते हैं।इस कोर्स में दाखिला के लिए CLAT, LSAT India, AILET या SET जैसे प्रवेस परीक्षा देनी होती है।
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बैचलर ऑफ लॉ यानी कि LLB एक बैचलर डिग्री कोर्स है, जोकि 3 साल में पूरा किया जा सकता है। इस कोर्स को किसी भी स्ट्रीम के छात्र चुन सकते हैं। LLB ग्रेजुएशन करने के बाद किया जाता है। यदि आप भारत के टॉप विश्वविद्यालय से LLB करना चाहते हैं तो इसके लिए आपको राष्ट्रीय स्तर की प्रवेश परीक्षा कॉमन लॉ एडमिशन टेस्ट (क्लैट) पास करना होगा। एलएलबी की डिग्री हासिल करने के बाद ऑल इंडिया बार एग्जाम देकर वकालत की जा सकती है। ऑल इंडिया बार एग्जाम में पास होने के बाद आप देश के किसी भी कोने में वकालती की प्रैक्टिस कर सकते हैं। एलएलबी की तुलना में बी एलएलबी कोर्स इन दिनों ज्यादा डिमांड में है।
ऐसे तो एलएलबी करें या बीए एलएलबी, दोनों ही कोर्स करने के बाद नौकरी मिल जाती है। लेकिन बीए एलएलबी (BBA LLB) कोर्स करने के बाद रोजगार के अवसर बढ़ जाते हैं। कई प्राइवेट फर्म भी लीगल कंसल्टेंट के पोस्ट पर बीए एलएलबी वालों को प्राथमिकता देती है। बीए एलएलबी (BA LLB) कोर्स करने पर आपको एक साल ज्यादा मिलता है। इस दौरान आप एआईबीई परीक्षा की तैयारी कर सकते हैं।