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अनूपपुर

पानी निकासी शहर में नहीं ड्रेनेज सुविधा, मुख्य सडक़ें बन गई तालाब

दो घंटे की झमाझम बारिश में शहर हुआ पानी पानी, बेसुध रहे नगरीय प्रशासन

अनूपपुरSep 03, 2019 / 03:11 pm

Rajan Kumar Gupta

No drainage facility in the city, drainage became the main pond

पानी निकासी शहर में नहीं ड्रेनेज सुविधा, मुख्य सडक़ें बन गई तालाब

अनूपपुर। सोमवार २ सितम्बर की सुबह दो घंटे तक हुई झमाझम बारिश की बौछार में अनूपपुर नगरपालिका के समस्त १५ वार्ड एक बार फिर से पानी पानी हो गया। नगर के कुछ निचले वार्ड में पानी भर आया। कुछ वार्डो में नाला के अभाव में सडक़ें पानी से लबालब हो गई। जबकि शहर की मुख्य सडक़े भी पानी के भराव में तालाब की शक्ल में नजर आने लगी। इनमें लगभग ६ करोड़ की लागत से बनी अनूपपुर-कलेक्ट्रेट मुख्य मॉडल मार्ग भी आधा फीट मोटी पानी के भराव में डूब गया, जिसके कारण यहां से यात्रियों व वाहनों की आवाजाही प्रभावित हो गई। लेकिन शहर को पानी भराव से निजात दिलाने नगरीय प्रशासन बेसुध रही। इसके पूर्व हुई बारिश में वार्ड क्र्रमांक ९, १, १३ के अधिकांश हिस्से पानी में डूब गए थे। घरों में पानी घुस आया था। यह हालात अनूपपुर मेंं पिछले कई वर्षो से बनती आ रही है, जहां जिला प्रशासन और नगरीय प्रशासन के साथ साथ जनप्रतिनिधियों की उपेक्षा में हर बार नगरवासियों को परेशानियों से जुझना पड़ता है। पूर्व में बारिश के दौरान जलभराव की स्थिति को देखते हुए जिला प्रशासन और जनप्रतिनिधियों ने डे्रनेज के प्रस्ताव बनाकर निर्माण के आश्वासन तो दिए, लेकिन जिला बनने के १६ वर्ष बाद भी अनूपपुर नगर में डे्रनेज जैसी सुविधा नहीं मिल सका। वहीं हाल के दिनों अनूपपुर विधायक ने अनूपपुर विधानसभा क्षेत्र के विकास के लिए खनिज मद से ९ करोड़ १२ लाख की राशि स्वीकृत कराई है। जिसमें स्कूलों के बाउंड्रीबॉल से लेकर नगर के सामतपुर तालाब की सौन्दर्यीकरण सहित अन्य कार्यो में लाखों की कार्ययोजना के लिए स्वीकृति प्रदान की गई है। लेकिन शहर की जरूरत ड्रेनेज सुविधा की मांग इस प्रस्तावित योजन से गौण हैं। नगरवासियों का कहना है कि पूर्व से सडक़ों की बदहाली और जिला प्रशासन की उपेक्षा से नगरवासी त्रस्त है, अब जनप्रतिनिधियों ने भी नगर की जरूरतों की उपेक्षा कर डाली है। मौसम की हरेक बारिश की बौछार में अनूपपुर नगर पानी पानी हो जाता है। बारिश की पानी की निकासी के लिए वार्डो और मुख्य सडक़ों के किनारे नाली की सुविधा ही नहीं है। जो है वो जाम और बेकार है। लेकिन इसके बाद भी जिला प्रशासन और जनप्रतिनिधियों की बेसुधगी समझ से पड़े है।
बॉक्स: शहर को तालाब बनाने की तैयारी
वर्तमान नगरपालिका अनूपपुर के चारो दिशाओं की मुख्य सडक़े निर्माणाधीन है, जो पैसें के अभाव में अधूरी है। निर्माण के अभाव में सडक़ों पर गड्ढे बने हुए है। जिसमें बारिश का पानी भर उसे हादसों का डगर बना दिया है। जबकि अनूपपुर नगर के अनेक वार्ड में सीसी सडक़ बनाकर नालियों के निर्माण को छोड़ दिया गया है। शेष फिल्टर प्लांट योजना में ठेकेदार ने पाइप लाइन बिछाने में सडक़ों व नालियों को तहस-नहस कर उसे बदहाल बना दिया है। आलम यह है कि बारिश के समय पानी के भराव में पूरा शहर ही तालाब जैसा नजर आता है। सडक़ और नालियों के निर्माण पर हर बार नगरीय प्रशासन ठेकेदार से अनुबंध होने का आश्वासन दे देती है। लेकिन वास्तविकता यह है कि फिलहाल अनूपपुर वासियों को जलभराव की समस्या से निजात नहीं मिलने वाला।
बॉक्स: करोड़ों की मॉडल सडक़, नालियां जाम
लगभग ६ करोड़ की लगात से बनी अनूपपुर-कलेक्ट्रेट मॉडल मार्ग के दोनों ओर नालियां बनी है। लेकिन सफाई के अभाव में जाम हो गई है। बारिश में सडक़ पूरी तरह पानी से लबालब हो जाता है।
वर्सन:
ड्रेनेज की आवश्यकता है, इसके लिए पूर्व में ७ करोड़ का प्रस्ताव बनाकर भेजा गया था। लेकिन वह पास नहीं हुआ। वर्तमान में संसाधन और पैसे के अभाव में यह योजना अटकी पड़ी है।
रामखेलावन राठौर, अध्यक्ष प्रशासनिक समिति नगरपालिका अनूपपुर।

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