सेंधवा एसडीओपी एमएस बारिया ने बताया कि मुखबीर से सूचना मिली कि एक सफेद रंग की जीप वरला की तरफ से सेंधवा की ओर आ रही है। सूचना मिलने के बाद शहर थाना प्रभारी टीएस डावर, ग्रामीण थाना प्रभारी बीआर वर्मा पुलिस बल के साथ शाहपुरा पटेल पहुंचे। यहां जीप को पुलिस ने रोका। वाहन में चार युवक बैठे थे। जब उनसे पूछताछ की तो उन्होंने अपने नाम सुखपाल पिता बलदेव सिंह सिख निवासी मंसूरवाल बेट, सुखराज सिंह पिता जोगेंद्रसिंह निवासी मेहमुदपुरा वलटोवा, सुखजीत पिता गुरबख्शसिंह निवासी तपई कपूरथला सिटी, अब्दुल्लाह सिंह पिता अर्जनसिंह निवासी मंसुवाल बेट टेमला कपूरथला पंजाब बताया। युवकों की तलाशी ली गई तो उनके पास से दो देसी कट्टे, दो पिस्टल सहित 75 हजार रुपए, एक बोलेरो वाहन क्रमांक पीबी 09 पी 558 7 जब्त किया गया। सभी आरोपियों को धारा 25 (1) आर्म एक्ट के तहत गिरफ्तार किया गया। कार्रवाई के दौरान शहर थाने के एसआई रोहित पाटीदार, ओएल ढोले, एएसआई संजीव पाटील, पुराणसिंह मंडलोई, प्रधान आरक्षक संजय पांडे, अमर सिंह, आरक्षक अकलेश का योगदान रहा।
पाकिस्तान सीमा के समीप रहने वाले हैं आरोपी
तस्करों ने पुलिस को बताया कि वह हथियार खरीदने के लिए पाकिस्तान सीमा से लगे पंजाब के गांवों के रहने वाले हैं। मंसूरवाल बेट, तरनतारन, कपूरथला ये क्षेत्र पकिस्तान सीमा के नजदीक है। जिनकी सेंधवा से दूरी 138 0 किमी है। सवाल उठता है कि क्या ये बदमाश 138 0 किमी की दूरी तय करके सिर्फ चार हथियार खरीदने आए थे या मामला किसी बड़ी डील का है। पुलिस कार्रवाई में हथियार बेचने वाले सिकलीगर का भी कोई उल्लेख नहीं है। पुलिस आरोपियों से अभी पूछताछ कर रही है। बताया जाता है कि सेंधवा में स्थानीय संपर्क होने के कारण यह पाकिस्तान बार्डर से करीब 1400 किमी दूर हथियार लेने पहुंचे थे।
देश के कई राज्यों में बनी सेंधवा के उमर्टी की पहचान
विधानसभा के वरला तहसील का गांव उमर्टी अवैध हथियारों के निर्माण और बिक्री के लिए देश के कई राज्यों में अपनी विशेष पहचान बना चुका है। उमर्टी में बने हथियारों की क्वॉलिटी और कीमत बेहतर होने से देश के कई राज्यों से खरीददार सैकड़ों किमी दूर से उमर्टी पहुंचते है और पिस्टल और देशी कट्टे खरीदकर कई गंभीर अपराधों को अंजाम दे रहे हंै। सिर्फ बड़वानी जिले में ही पिछले 2 महीने में अवैध हथियारों की खरीदी बिक्री के अनेक मामले पुलिस ने ट्रेस किए है, लेकिन उस नेटवर्क तो तोडऩे में सफलता नहीं मिली है। इसके जरिये अन्य राज्यों के अपराधी हथियार खरीदने सेंधवा सहित जिले के अन्य क्षेत्रों में पहुंचते है।
लोकल नेटवर्क के सहारे पहुंचते हैं सेधवा
शुक्रवार को नगर से 15 किमी दूर शाहपुरा में पुलिस अधिकारियों ने नाके बंदी कर जिस बोलेरो वाहन को रोका। उसमें तरणतारण सहित अन्य क्षेत्रों के 4 युवाओं से चार हथियार जब्त किए गए थे। इस पूरे मामले में पुलिस ने सभी को गिरफ्तार कर मामले का खुलासा किया है। इसमें लोकल नेटवर्क बड़ा माध्यम है। जिसके सहारे देशभर के तस्कर यहां पहुंचते हैं। जानकारों का मानना है कि हथियार बेचने वाले सिकलीगर समाज के लोग भी किसी पर भरोसा नहीं करते। अब हालात ये हो चके हंै कि उमर्टी से हथियारों का निर्माण सीखकर सिकलीगर समाज के कई युवा प्रदेश के अन्य क्षेत्रों में अपना नेटवर्क चला रहे हंै।
उमर्टी में बने हथियारों की डिमांड
सेंधवा विधानसभा का सीमावर्ती गांव उमर्टी अवैध हथियारों के निर्माण के लिए कुख्यात हैं। यहां सिकलीगर द्वारा कंट्री मेड पिस्टल बनाए जाते है। पिछले कुछ समय के लिए हथियार निर्माण की खबरें नहीं आ रही थी। अब कई लोग अभी भी पिस्टल और कट्टे के निर्माण में पुलिस के हत्थे चढ़ रहे हैं। सेंधवा से करीब 40 किमी दूर उमर्टी में जंगलों में हथियार बनाए जाते है। उमर्टी में हथियार की फिनिशिंग और मारक क्षमता के लिए देश के अनेक राज्यों में इनके खरीदार है। पिस्टल खरीदने के मामले में कई बार महाराष्ट्र, राजस्थान, गुजरात, आंध्रप्रदेश, दिल्ली सहित कई राज्यों की पुलिस अपने यहां उमर्टी में बनी पिस्टल जब्त कर चुकी है।
देशभर में सिकलीगरों का नेटवर्क है। जो हथियार निर्र्माण और बिक्री में लिप्त है। अपराधियों के किसी खास नेटवर्क का खुलासा अभी तक नहीं हुआ है। सेंधवा के उमर्टी के हथियारों की क्वॉलिटी के चलते मांग ज्यादा है। हथियार बेचने वाले का पता लगाया गया है। जल्द गिरफ्तार किया जाएगा।
-निमिष अग्रवाल, एसपी बड़वानी