पांच साल से नहीं हुई खेल शिक्षकों की भर्ती, कैसे निखरेगी प्रतिभा
राष्ट्रीय स्तर तक प्रदर्शन करते हुए राष्ट्रीय स्तर तक किया नाम रोशन
Sports teachers not recruited for five years in barwani
बड़वानी. प्रदेश भर में खेल दिवस पर कई खेल प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। जिले में खेल प्रतिभाओं की भी कमी नहीं है। यहां के फुटबॉल, हॉकी से लेकर अन्य खेलों के खिलाडिय़ों ने राष्ट्रीय स्तर तक जिले का नाम रोशन किया है। लेकिन सरकारी स्कूलों में विद्यार्थियों की खेल प्रतिभाओं को तराशने के लिए कोई पुख्ता इंतजाम अभी तक नहीं हो पाए हैं।स्थिति यह है कि जिले में पांच साल से खेल शिक्षकों की भर्ती ही नहीं हुई है। खेल शिक्षकों के स्वीकृत पद ही पूरे नहीं भर पाए हैं। साथ ही कई सरकारी स्कूलों में खेलों के उच्चस्तरीय संसाधनों की कमी भी प्रतिभाओं की राह में रोड़ा बनती है। ऐसे में इन स्कूलों में पढऩे वाले बच्चे सिर्फ पढऩे तक ही सिमट कर रह जाते हैं।
जिले में स्कूलों की संख्या साल दर साल बढ़ती रही हैं।इन स्कूलों के लिए कुल ५४ खेल शिक्षकों के पद स्वीकृत किए गए थे। इन स्वीकृत पदों की संख्या में इजाफा नहीं हुआ। लेकिन खास बात यह है कि इन स्वीकृत सभी पदों पर भी खेल शिक्षक भर्ती नहीं हो पाए हैं। ऐसे में जो स्वीकृत पद हैं उनमें से भी अभी ९ पद खाली ही है। जबकि जिले में कुल हाई सेकंडरी और हाई स्कूल मिलाकर १५६ स्कूल हैं। लेकिन खेल शिक्षक फिलहाल सिर्फ ४५ ही हैं। जबकि संख्या के लिहाज से कम से कम यहां ७० से ज्यादा शिक्षकों की जरूरत हैं।
विभाग की जानकारी के अनुसार वर्ष २०१३ से खेल शिक्षकों की भर्ती नहीं हुई है। जिले में ९४ हाई स्कूल व ६२ हायर सेकंडरी स्कूल हंै। इस कारण जिले को ५४ पद स्वीकृत किए है। लेकिन ४५ ही पद भरे हुए हंै। जबकि ९ पद अब भी खाली है। ऐसे में खेल प्रतिभाएं उभर नहीं पा रही है।
यहां है खेल शिक्षक पदस्थ
कन्या उमा विद्यालय, बालक खेल परिसर, बालक खेल परिसर, बालक उमा विद्यालय क्रमांक-२ और उत्कृष्ट मीडिल स्कूल बड़वानी, उमा विद्यालय नागलवाड़ी, कन्या खेल परिसर, बालक उमा विद्यालय, कन्या खेल परिसर, कन्या उमा विद्यालय निवाली, उमा विद्यालय, कन्या उमा विद्यालय पाटी, उमा विद्यालय दवाना, उमा विद्यालय सिलावद, बालक उमावि पानसेमल, कन्या उमावि ठीकरी, बालक उमावि सेंधवा, हाई स्कूल राखी बुजुर्ग, हाई स्कूल वासवी, उमावि कासेल, कुआं और भवती, हाईस्कूल तलवाड़ा डेब, उमावि धनोरा, हाईस्कूल वझर, कन्या उमावि ओझर, बालक उमा मंडवाड़ा, उमावि जुलवानिया, बालक उमावि और कन्या उमावि खेतिया, बालक उमावि पलसूद, उमावि बरुफाटक, कन्या हाईस्कूल सिलावद, बालक उमावि अंजड़, उमावि राजपुर और धवली और बालक उमावि ओझर, कन्या उमावि पलसूद, हाईस्कूल जोगवाड़ा और कन्या उमावि अंजड़ पर पदस्थ है।
बढ़ावा देने के लिए प्रयास जारी हैं
&खेल की गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए प्रयास किए जा रहे है। स्कूलों में खेल की कक्षाएं भी लगाई जा रही है। सत्र खत्म होने के बाद समीक्षा करेंगे कितने विद्यार्थी राष्ट्रीय स्तर पर खेलने गए है।
– विवेक पांडेय, सहायक आयुक्त, जनजातिय कार्य विभाग
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