इमरजेंसी में किसी मरीज को ऑक्सीजन की कमी ना हो इसके लिए सभी 8300 बिस्तरों को मेडिकल गैस पाइपलाइन सिस्टम से जोड़ा – मंगलवार को चिकित्साशिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने तीसरी लहर को लेकर चल रही तैयारियों की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि इंतजार करने से बेहतर है कि इसे रोकने की तैयारी की जाए। सारंग ने बताया कि इमरजेंसी में किसी मरीज को ऑक्सीजन की कमी ना हो इसके लिए सभी 8300 बिस्तरों को मेडिकल गैस पाइपलाइन सिस्टम से जोड़ा गया है। यही नहीं प्रदेश में ऑक्सीन की वर्तमान क्षमता 271 किलो लीटर से बढ़ाकर 395 किलोलीटर की है।
मेडिकल कॉलेजों में तैयार आईसीयू में बच्चों के लिए 380 बेड का आइसीयू : उन्होंने बताया कि मेडिकल कॉलेजों में तैयार आईसीयू में 3358 बिस्तरों की व्यवस्था की गई है। वहीं बच्चों के लिए आईसीयू में 380 बिस्तर मौजूद है। इर आइसीयू में जीवन रक्षक उपकरण नियोनेटल वेंटिलेटर, मल्टीपैरा मॉनिटर, डिफि ब्रीलेटर, सिरिंज पंप, बेड, हॉस्पिटल फ र्नीचर स्थापित किए जा रहे हैं।
निर्माण और रखरखाव के लिए 335 करोड़ की मिली स्वीकृति: सारंग ने बताया कि मेडिकल कॉलेजों में उपकरण, पीडियाट्रिक आइसीयू, दवाइयां, टेस्टिंग, ऑक्सिजन की उपलब्धता, मेडिकल गैस पाइपलाइन सिस्टम आदि के निर्माण और रखरखाव के लिए 335 करोड़ रुपए स्वीकृत किए गए हैं। इनमें इमरजेंसी कोविड रिस्पांस पैकेज के अंतर्गत 215.65 करोड़ रुपए, डिजास्टर रिलीफ फंड के लिए 63.35 करोड़ रुपए, दवाओं के लिए 36 करोड़ और कंज्युमेबल्स के लिए 20 करोड़ रुपए दिए जाएंगे। गौरतलब है कि खुद मुख्यमंत्री शिवराजसिंह यह आशंका जाहिर कर चुके हैं कि जनवरी में कोरोना की तीसरी लहर आ सकती है.