काली मंदिर के पास नाले का एक डक्ट पूरी तरह से बंद है। नाले की सफाई के नाम पर महज औपचारिकता पूरा करना तेज बारिश में आसपास रहने वाले लोगों के लिए मुसीबत बनेगा। साल २०१६ में भी नाले के ओवर फ्लो होने से ३०० घरों में पानी भर गया था। मोहिनीदीप के ४८ और स्नेह नगर के १८५ से ज्यादा घरों में काफी नुकसान हुआ था।
बारिश के बाद बनेगी नाले की रिटर्निंग वॉल
नगर निगम ने नाले की रिटर्निंग वॉल बनाने के लिए भूमि पूजन करा लिया है, लेकिन रिटर्निंग वॉल का निर्माण अभी संभव नहीं है। बारिश का सीजन निकलने के बाद भी रिटर्निंग वॉल का निर्माण पूरा किया जाएगा। सुरक्षा और जल निकासी के पुख्ता इंतजाम करने के लिए नाले की रिटर्निंग वॉल का निर्माण ८ करोड़ ५६ लाख रुपए की लागत से किया जाना है।
सफाई के बाद नहीं उठाया मलबा
जाटखेड़ी में नाले की सफाई के एक सप्ताह बाद भी मलबा नहीं उठाया गया है। नगर निगम के सफाई अमले ने जेसीबी मलबा बाहर निकाला और किनारे पर छोड़ दिया। निगम के अफसर सात दिन से मलवा सूखने का इंतजार कर रहे हैं। बारिश हुई तो पूरा मलवा फिर से नाले में चला जाएगा।
नाले की सफाई करने के बाद मलबा अभी तक नहीं उठाया है। फोरेस्ट कॉलोनी से भाभा कॉलेज तक कई जगह नाला बंद है, नगर निगम को इस क्षेत्र में भी सफाई करानी चाहिए।
आदेश गौर, रहवासी
नाले की सफाई के बाद मलबा सूखने के बाद उठाया जाता है। यदि इसके बाद भी मलबा नहीं उठा है तो मैं पता करता हूं। यदि नाले की सफाई में औपचारिकता की जा रही है तो टीम भेजकर फिर से सफाई कराएंगे।
हरीश गुप्ता, उपायुक्त नगर निगम
नाले की सफाई कराने और मलबा उठाने के लिए तीन दिन से बोल रहा हूं। आज ही कलेक्टर को पत्र लिखा है। अमृत योजना के तहत लहारपुर तक नाले के पक्का निर्माण की मांग की है।
नारायणी अहिरवार, पार्षद वार्ड 53