वीडियो वायरल होने से शुक्रवार सुबह गांव में हलचल मच गई। सरपंच रमनदीपसिंह ने बताया कि आरोपी युवक करीब एक साल से अभद्र गाली-गलौज कर परेशान कर रहा था। उन्हें मारपीट की जानकारी वायरल वीडियो से पता चली।
शिकायत आने पर लेंगे प्रसंज्ञान, कानून हाथ में लेना ओछी हरकत
चौकी प्रभारी विजेंद्र कुमार नेहरा का कहना है कि पैलेस में शादियां होती रहती हैं। लोग आते-जाते रहते हैं, हमें क्या पता चले। वीडियो से मारपीट होने की जानकारी मिली। कानून को हाथ में लेना तो ओछी हरकत है। हालांकि कई दिन पहले उनके पास एक परिवाद जरुर आया था। युवक पर बहन-बेटियों के बारे में टिप्पणियां करने का आरोप लगाते हुए कार्रवाई करने की मांग थी। इससे पहले वे कुछ करते गुरुवार को पीडि़त व युवक के परिवार से पहुंचे लोगों ने पंचायती तौर पर राजीनामा में मामला सुलटने और शराब के नशे में ऐसी हरकत होने की जानकारी देते हुए पुलिस कार्रवाई नहीं करने को कहा था। यदि युवक की ओर से कोई मामला आएगा तो प्रसंज्ञान लेंगे।
ये पता चला कि युवक ने एक पुलिस अधिकारी के बारे में भी ऐसी गलत टिप्पणी लिखी थी। युवक काफी समय से मक्खीपालकों के साथ था। वह गांव में नहीं रहता। एक-दो बार घर पर दबिश दी लेकिन नहीं मिला।
बहन-बेटियों का अपमान असहनीय, पुलिस नहीं कर रही थी कार्रवाई
पीडि़त परिवार के गुरसाबसिंह ने आरोप लगाया कि सोशल मीडिया, फोन आदि पर की गई टिप्पणियों के स्क्रीन शॉट समेत परिवाद व सूचना चौकी में देने के बावजूद कार्रवाई नहीं हुई। मजबूरीवश आरोपी को सबक सिखाना पड़ा। यदि पुलिस अपना काम कर देती तो उन्हें ऐसा नहीं करना पड़ता। आरोपी ने तो पुलिस पर भी छींटाकशी की है। वहीं भारत छोडऩे, दाऊद से मिलने सहित आतंकवादी बनने जैसी गंभीर बातें पोस्ट की हैं। डेढ़ साल पूर्व वह अपने पिता को पीट रहा था तब उन्होंने बचाव किया। इसी रंजिशवश उसने बेइज्जती शुरु कर दी। पुलिस ने कार्रवाई करने की बजाय उन्हें दबाने का प्रयास किया। 14 फरवरी को युवक के घर आने की सूचना फोन पर दी लेकिन पुलिस मौके पर नहीं पहुंची।