भाजपा नेता युनुस खान की ओर से राजस्थान जनसंवाद रैली के जारी हुई प्रचार सामग्री में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और साथ में पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की तस्वीर दिखाई गई। जबकि केंद्रीय मंत्री गडकरी और खुद युनुस खान की तस्वीर शामिल रही। सोशल मीडिया पर भी जारी हुए पोस्टर में कहीं भी भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉ सतीश पूनिया की तस्वीर दिखाई नहीं दी।
ये कोई पहली बार नहीं है जब प्रदेश भाजपा में गुटबाजी नज़र आ रही है। पूनिया के प्रदेश अध्यक्ष बनने के बाद से पूनिया और राजे कैम्प के कार्यकर्ता कई बार आमने-सामने हो चुके हैं। गुटबाजी की शुरुआत तभी से देखने को मिल गई थी जब राजे सतीश पूनिया के कार्यभार ग्रहण समारोह में नहीं पहुंची थीं। हालाँकि तब राजे के नहीं आने को व्यक्तिगत कारण बताते हुए किनारा किया गया था।
पोस्टर में तस्वीर नहीं होने की बात को लेकर पिछले साल के दिसंबर माह में भी ऐसा ही कुछ देखने को मिला था। दरअसल, तब प्रदेश भाजपा की ओर से नागरिकता संशोधन कानून के समर्थन में जयपुर में हुए मुख्य प्रदर्शन में वसुंधरा राजे नाराज़ हो गईं थी। सभा स्थल पर पहुंची राजे को जब वहां लगे पोस्टर्स में अपनी त्तास्वीर नहीं दिखी तब वे नाराज़ हो गईं। नौबत तो यहाँ तक आ गई थी कि वे सभा के लिए बनाए गए मंच पर बैठने तक को राज़ी नहीं हुईं। बाद में अन्य वरिष्ठ नेताओं की मां-मनुहार के बाद राजे मंच पर चढ़ीं। वहां लगे होर्डिंग-पोस्टर्स में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, भाजपा के कार्यकारी राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद और प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया की तस्वीर ही चस्पा थी।
”व्यक्तिगत अपनी अपनी सोच है, मैं इस पर अधिक क्या बोल सकता हूं।” –सतीश पूनिया, प्रदेश अध्यक्ष, भाजपा
”सतीश पूनिया हम सभी के लिए चुने हुए अध्यक्ष हैं। पोस्टर पर किसका फोटो है किसका नहीं है, इस पर मैं कोई टिप्पणी नहीं करना चाहता।”
यूनुस खान, पूर्व मंत्री, वरिष्ठ नेता भाजपा