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देशी स्टाइल पर लौटा खान-पान, स्वाद नहीं अब इम्यूनिटी की चिंता

कोरोना संक्रमण से बचने के लिए लोगों ने बदली दिनचर्या

कोटाAug 14, 2020 / 12:25 am

mukesh gour

देशी स्टाइल पर लौटा खान-पान, स्वाद नहीं अब इम्यूनिटी की चिंता

देशी स्टाइल पर लौटा खान-पान, स्वाद नहीं अब इम्यूनिटी की चिंता

बारां. कोरोना संक्रमण के दौर में अब अधिकतर लोग खान-पान पर विशेष ध्यान देने लगे हैं। अधिकांश लोगों व परिवारों ने गर्मी के दौर से अब तक आइसक्रीम, शीतल पेय पदार्थों से दूरी बना रखी है। ऐसे परिवार विटामीन सी से भरपूर नीबू, आंवला का जूस समेत अदरक, गिलोय, काली मिर्च, सौंठ, आयुर्वेदिक काढ़ा, ग्रीन व लेमन टी के साथ गर्म पानी के सेवन को तवज्जो दे रहे हैं। संक्रमण से बचाव को लेकर आयुर्वेद विशेषज्ञों के साथ आयुष चिकित्सकों की सलाह अनुसार अपनी दिनचर्या में बदलाव करने लगे हैं। सुबह की सैर के साथ योग, प्रणायाम से इम्युनिटी बढ़ाने के लिए हरसंभव कोशिश कर रहे हैं तो सोशल डिस्टेंसिंग की पालना समेत मास्क व सेनेटाइज का उपयोग भी लोगों की आदत में शुमार होने लगा है।
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लोगों का कहना है कि अब संक्रमण इस कदर फैल चुका है कि अस्पतालों में उपचार के साथ जगह नहीं मिल रही। सरकार ने शुरुआती दौर में सख्ती कर नियम-कायदों की पालना के प्रति जाग्रत कर जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ लिया। प्रशासनिक तंत्र से जुड़े अधिकारी, कर्मचारी खुद को संक्रमण से बचाने के लिए लोगों को दूरी बनाने लगे हैं। ऐसे में सावधानी ही इस संक्रमण से बचाव का एक मात्र उपाय है। कलक्टे्रट परिसर में अब हालात चिंताजनक होने लगे हैं। पूर्व में जिला परिषद की विंग में संचालित शिक्षा विभाग प्रारम्भिक के पांच कर्मचारी संक्रमित होने के बाद एक बड़े अधिकारी के बारां में रहने वाले सास, ससुर संक्रमित मिले। इस अधिकारी का उनके घर पर आना-जाना आम था। यह अधिकारी का उस ग्रुप का सदस्य है, जिन्हें ‘खास लोगोंÓ में गिना जाता है।
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पूरे साल अदरक का साथ
लोग गत वर्ष सर्दी के मौसम से अदरक को उपयोग में ला रहे हैं, फिर चाय हो या सब्जियां और चटनी। इसके अलावा बाजार में नीबू, टमाटर व विटामिन सी से भरपूर सब्जियों की मांग अधिक है। इनमें कद्दूवर्गीय सब्जियां शामिल हो गई हैं। यह सब्जियां सुपाच्य होने से वैसे भी लोगों की खास पसंद रहती है, लेकिन किराना सामग्री में अब मूंग की दाल लोगों की थाली में आए दिन नजर आने लगी है। दालों के अलावा लोग पनीर भी खाने में शामिल करने लगे हैं। यह प्रोटीन बढ़ाने में सहायक होता है।
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भाने लगी पानी वाली ‘चाय’
कई लोग अब चाय की जगह पानी वाली चाय पीने लगे हैं। इसमें पहले पानी के साथ अदरक, तुलसी के पत्ते, नीबू समेत कुछ अन्य गुणकारी औषधियों को उबाला जाता है। इसके बाद इस पानी में टी बैग डालकर उसका रस लिया जाता है। लोगों का कहना है कि यह चाय नुकसान नहीं करती, बीमारियों से बचाने की क्षमता बढ़ाती है, साथ ही वजन को नियत्रित करने में भी सहायक होती है। शहर में नारियल पानी की मांग भी बढ़ गई है।

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